❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️ @k_a_baate Channel on Telegram

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

@k_a_baate


खामोशियों में शब्दों को ढूंढना मेरी आदत है कर के देखिए सुकून ही सूकून मिलेगा ❤️❤️
Owner - Irfaan Mohmmad

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️ (Hindi)

आपका स्वागत है '❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️' टेलीग्राम चैनल में। यह चैनल 'k_a_baate' द्वारा संचालित है और इसका मालिक इरफान मोहम्मद है। यह चैनल उन लोगों के लिए है जो खामोशियों में छिपे अनकहे अल्फाज़ खोजना और महसूस करना चाहते हैं। यहाँ आपको सुकून और सोचने का समय मिलेगा, और शब्दों की गहराई में खो जाएंगे। इस चैनल में आपको सुंदर कविताएं, एक्स्प्रेशन्स, और विचारों से भरपूर संवेदनशीलता मिलेगी। तो अब आइए, इस अनूठे अनुभव का आनंद लें और खामोशियों के साथ बातें करें।

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Jan, 13:32


जाती है इस झील की गहराई कहाँ तक,

आँखों में तेरी डूब के देखेंगे किसी रोज..
✍🏻✍🏻

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Jan, 10:09


किट्टू की कलम से ✍️

( गगन भाई के लिए 😁 )

सुनो कुछ कहूं??

शांत है, पर गहराई समंदर सी,
समझदारी की झलक हर बात में उसकी।
जैसे आसमान का फैलाव अनंत,
वैसा ही बड़ा दिल, सदा निर्मल अंत।

हर मुश्किल को मुस्कान से हराता है,
सपनों को अपनी उड़ान में सजाता है।
गगन जैसा नाम और गगन जैसी सोच,
जैसे चाँदनी में छुपा हो स्नेह का संयोग।

तेरे हौसले के परिंदे सदा उड़ान भरें,
तेरे सपने हर दिशा में निखरें।
तेरी मेहनत का हर बीज फल लाएगा,
तेरा उज्जवल भविष्य जग को दिखाएगा।

सितारे भी झुकेंगे तेरी राहों में,
हर मंज़िल होगी तेरे इशारों में।
तू गगन है, ऊँचाइयों का नाम तेरा,
तेरी जीत बनेगी हर दिल का बसेरा।

Kittu Write's....✍️
24/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Jan, 04:54


कविता शीर्षक: ख्वाहिशों की दास्तान

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

तहरीरों में वक्त गुजर जाता है,
ख्वाहिशें खामोश हो जाती हैं।
जो लफ़्ज़ अधूरे रह जाते हैं,
वो चाह,आह बनके बह जाती हैं।

हर ख्वाब का इक मंजर होता है,
हर दर्द का अपना सफर होता है।
जो टूट के भी संभल जाता है,
वही इश्क का असर होता है।

चाहतों के सफे उलटते हैं जब,
जख़्म भी नए से भर आते हैं तब।
जो मुकम्मल न हो सके कभी,
वो किस्से भी अमर हो जाते हैं सब।

मुर्शद,समाप्ति कहां, ये तो सिलसिला है,
जहां रुकें, वहीं से रास्ते बन जाते है।

©️ kittu Write's....✍️
24/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Jan, 04:17


सुबह की पहली तकरार से शुरू होकर
रात को उसके आगोश में जो खत्म होता है

वहीं बेपनाह इश्क है मेरा ❤️

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Jan, 03:51


🌸🌞 जय श्री कृष्णा! राधे राधे! 🌞🌸

🌺 सुप्रभात! 🌺
सूरज की पहली किरण आपके जीवन को प्रकाशमय करे,
और कान्हा की कृपा से आपके दिन में खुशियों की बहार छा जाए। 🌿

🌸 राधा नाम का सहारा लें,
हर मुश्किल पल भी आसान हो जाएगा। 🌸
🌼 श्री कृष्ण की मुरली की मधुर ध्वनि,
आपके दिल को सुकून और आनंद से भर दे। 🌼

🙏 आज का दिन शुभ हो,
प्रीत और प्रेम का रंग हर ओर बरसे। 🙏

🌹 राधे राधे! 🌹

Kittu Write's.....✍️
24/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

23 Jan, 11:00


ग़ज़ल शीर्षक: "मोहब्बत बरकरार"

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

सर्द मौसम गुजर गया, रात बरसात भी हुई,
तेरे ख्याल की दस्तक, ज़ेहन में हलचल हुई।

ख़ुशबू तेरी जो आई, सांसें थमने लगीं,
बरसों पुरानी बातें, दिल में फिर से बसीं।

हवा ने साज़ छेड़ा, तेरी यादें ला गईं,
बूंदों की थाप ने फिर, वो धुंधली राह दिखा दी।

खामोशियों ने मुझसे, सब्र का खेल खेला,
दिल ने पुकार दी मगर, दिमाग फिर संभला।

अब भी असर तेरा है, हर एहसास मेरा,
आंखों का समंदर अब, सब्र में ठहरा।

तू था, तेरी बातें थीं, एक अधूरी दास्तां,
तेरी मोहब्बत का हर लफ्ज़ मैंने छुपा लिया।

खुद से बात की मैंने, सब कुछ है बीत गया,
दिल से दर्द हटाया, हर याद भी रीत गया।

हवा ठहरी-सी लगती है, खामोशी अब साथी है,
जो तेरा था, वही अब मेरी तन्हाई की धाती है।

आखिरी बार देखा मैंने, तेरा ख्वाब का दीदार,
तुझसे दूर सही, मगर मोहब्बत है बरकरार।

हां! सर्द मौसम गुजर गया.......

©️ Kittu Write's....✍️
23/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

23 Jan, 07:54


किट्टू की कलम से ✍️

कुछ ऐसे हैं मेरे ये अनमोल रत्न
एक है रावन तो दूसरा गगन तीजें की बात निराली है
उससे रोशन हर दिवाली है
चौथा थोड़ा पगला है लड़कियों पर बस मरता है 😜

ओए सुनो 😜बताना कौन सा नंबर किस का है 😁

Kittu Write's.....✍️
23/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

23 Jan, 03:47


"कदर और वक़्त"

ये दो चीज़े कभी लौटकर नहीं आते
जिस इंसान की कदर करनी है, उसे आज ही करें

और वक़्त को बेवजह गंवाने के बजाय सही कामों में लगाएं, क्योंकि समय और रिश्ते दोनों अनमोल होते हैं।

💯✍️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Jan, 08:37


किट्टू की कलम से ✍️

दीपक भाई के लिए कुछ अल्फाज़ 😁

दीपक भाई, जो रौशनी बनकर आते हैं,
हर बहन की मुस्कान का सबब बन जाते हैं।
जहाँ मुश्किल हो, वहाँ ढाल बन खड़े,
हमारे "डॉन" हैं, दिल के बड़े।

टेक्नोलॉजी में गुरु, हर सवाल का हल,
कभी दोस्त, कभी भाई, तो कभी प्रेरक पल।
बातों में सख्त, पर दिल में हैं कोमल,
उनके जैसा होना, है सपना हर सरल।

हर बहन के लिए जीते हैं वो,
दुनिया से लड़ने का जज्बा रखते हैं वो।
दीपक भाई,के कितने है नाम,
पर इनोसेंट तो है इनकी जान 😜
( लड़की नहीं है रे बाबा 😂 आई डी का नाम है )

भाई सुनो ! तुम डांटते बहौत हो 😒
लगता है पिछले जन्म के पिता हो 😊
रिश्ता कुछ ऐसा ही है
हर रिश्ता तुमसे बन जाता है

आपका हौसला सदा ऊँचा रहे,
हर खुशी आपके कदमों तले बहे।

Kittu Write's....✍️
22/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Jan, 05:44


किट्टू की कलम से ✍️

प्रिय आशु वीर जी,

सबसे पहले, आपको ढेर सारी शुभकामनाएं कि आप हमेशा "परेशानी" देने का अपना काम इतनी सजीवता से कर रहे हैं! 😜

आपकी मस्ती की जो मिसाल है, वो किसी और से नहीं हो सकती। क्या ग़ज़लें हैं, क्या बातें हैं, और क्या शरारतें हैं! हमें तो यकीन ही नहीं होता, कि आप इतनी आसानी से सबकी टांग खींचने का हुनर रखते हो। 😂

लड़कियां तो बस आपका नाम सुनते ही खुशी से झूमने लगती हैं, और आप! हमेशा कृष्ण कन्हैया की तरह सबका दिल छीनते हो। डांट के भी दोस्त बना लेते हो, ये कमाल सिर्फ आप ही कर सकते हो! 😎

आपकी ग़ज़लें सुनते हुए एक बात तो हम समझ गए हैं, आपके बिना महफ़िल बेमजा है। अब टांग खींचने का अपना भी टाइम आता है, क्योंकि अगर आप की टांग खिंचाई न हो , तो दिन कैसे कटेगा? 😆

बस, यही कहेंगे – जितना परेशान करना है करो, पर ध्यान रखना, मेरे पैसे भी वापस करने हैं कंजूस आदमी😜‌एक ठो रूपया बहनों के लिए खर्च नहीं कर सकते हो आप 😔

P.S. अगली बार फिर से एक नई ग़ज़ल सुनाओ, और अगर किसी ने टांग खींची तो समझ जाओ, हम भी आपके स्तर के हो गए हैं! 😎

आपकी दीदी 😂

Kittu Write's....✍️
22/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Jan, 05:17


किट्टू की कलम से ✍️

कुछ अल्फाज़ रावण भाई के नाम❤️

रावण भाई, जिनमें समझदारी छलकती है,
खुशदिल मुस्कान से हर बात महकती है।
कभी दोस्त बनकर हंसा देते हैं,
तो कभी भाई बन हर मुश्किल से बचा लेते हैं।

भाई कुछ खास रिश्ता तुमसे लगता है,
आनलाइन की भीड़ में तू अपना सा लगता है।
महफिलों की जान तुम बन जाते हो ,
जब आनलाइन अपनी रचनाओं को लाते हो ।

संस्कारों का जीता-जागता उदाहरण हो तुम,
कहते नहीं कुछ पर सब समझते हो तुम।
अंजान नहीं रहते बहनों की परेशानियों से,
हर भी परेशानी मुश्किल में करते हो तुम।

आपसे जुड़ा हर पल खास लगता है,
आपके बिना सब अधूरा सा लगता है।
रावण नाम तुमने खुद को दे डाला है, पर दिल है राम सा,
हर बात में झलकता है सच्चा इंसान सा।

हमारी दुआ है, आप यूँ ही मुस्कुराते रहें,
अपने और भाभी सा के जीवन की बगिया महकाते रहे ।
अपने हो या पराएं सबकी आंखों का तारा बनते रहे ,
अपनेपन से हर रिश्ता यूँ ही सजाते रहें।

खुश रहिए भाई कान्हा जी आपकी सारी मनोकामनाएं पूर्ण करें 🙌 🙌
भाई डी पी कैसी है 😜😜

आपकी अपनी दीदु 😁

Kittu Write's....✍️
22/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Jan, 03:58


बंदिशों में सिमट कर रह गई कुछ कहानियां
जज़्बात थे जबरदस्त फिर भी मिट गई जवानियां

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Jan, 03:44


सुप्रभात और नमस्कार दोस्तों
जय श्री कृष्णा राधे राधे 🙏

" कुछ अनकहे से अल्फाज़ "

सोचा भी नहीं था ये इतना लंबा सफर तय कर पाएगा 😂क्यों कि दो चैनल ऑलरेडी मेरे खराब हो चुके थे।पर ये आप लोगो के सपोर्ट से यहां तक आया है ।आज 1.9 k सब्सक्राइबर्स है और 2k का सफर जारी है ।जिसमें आप सभी का योगदान ऐसे ही मिलता रहे बस ।

कारवां और मंजिल कुछ यूं हासिल करेंगे
ठोकरें लगेंगी राहो में पर हम मुस्कुरा आगे बढ़ेंगे 😂

तो डियर सब्सक्राइबर्स प्लीज़ 2k के सफ़र में अपना योगदान प्रदान करें ।

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

21 Jan, 08:21


कभी चांद तारों की कहानियां सा है वो ,
जज्बातों में परिंदा सा है वो,,
बातें उसकी अजनबी सी है ,
हां! अजनबी सा लड़का है वो ,,

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

21 Jan, 03:33


🌅 गुड मॉर्निंग 🌅

हर सुबह एक नई शुरुआत है, एक नई उम्मीद, और एक नया अवसर।
आज से पहले जितने भी दिन थे, वे सिर्फ एक तैयारी थे,
अब तुम्हारी बारी है, अपनी दुनिया बदलने की। 🌟

"सपने वो नहीं जो हम सोते समय देखते हैं,
सपने वो हैं जो हमें सोने नहीं देते।"
– डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम

अगर आप सच्चे दिल से चाहें तो किसी भी मुश्किल को पार कर सकते हैं,
"खुद को कमजोर समझना सबसे बड़ा पाप है।"
– स्वामी विवेकानंद

🌸 आज का दिन बस तुम्हारे नाम है,
उसे अपना सर्वश्रेष्ठ देने में लगाओ! 💪

जय श्री कृष्णा 🙏 राधे राधे 💫

सुप्रभात! 🌼

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Jan, 05:27


कविता शीर्षक: छाले और इन्द्रधनुष

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

सुनो!आज यूं ही छाले पड़ गए हथेली पर,
उसके अक्स छुआ था बस।

कितना सुकून था,
ये दिल समझता था बस।

पल पल दर्द की इंतहा थी,
वो रूह मे उतरा था कुछ इस तरह।

कचोट रहा था मेरे जिस्म को,
नश्तर चुभ रहे हो जिस तरह।

धूल रही थी परतें,
शिशे पर गर्त जमी थी कुछ इस तरह।

मरहम था सामने और मैं बेखबर,
जैसे मयखाने का सुरूर हो इस तरह।

होश आने मे अभी वक्त था,
पुकार लिया मुझे साहिल की तरह।

निखर रहा था मेरा अस्तित्व,
बरसात के बाद इन्द्रधनुष निकला हो जिस तरह।

हां ! आज छाले पड़ गए......

©️kittu Write's....✍️
18/1/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Jan, 03:47


थोड़ी मिट्टी सरकाई थी, थोड़ी और गिरा दी है,
ज़िंदगी ने यूँ ही दीवार चढ़ा दी है।
कभी दीवार तोड़ोगे तो राह निकलेगी,
फिलहाल कोशिशें ही तुम्हारी मसीहा बनेंगी।"
— गुलज़ार साहब

🌞 गुड मॉर्निंग! 🌞

जय श्री कृष्णा राधे राधे ❤️

हर सुबह एक नई उम्मीद के साथ होती है,
चरणों में बसी होती है खुशियों की सौगात।
आओ, इस दिन को मुस्कान के साथ अपनाएं,
सपनों को सच करने की एक और राह पाएं।

नए दिन की नई शुरुआत हो,
आपकी ज़िन्दगी रोशन हो! 🌸

#GoodMorning #NewDay #PositiveVibes

Kittu Write's....✍️
18/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Jan, 02:01


शुभ प्रभात!

"प्रभु का नाम लो हर सुबह,
जीवन में खुशियों का हो सवेरा।
हर कठिनाई में भी राह दिखाए,
ईश्वर की कृपा का हो बसेरा।"

"सूरज की किरणें प्रभु का संदेश हैं,
हर पल में छुपा जीवन का परिवेश है।
प्रभु के चरणों में सारा संसार है,
उनका साथ ही सच्चा आधार है।"

आपका दिन शुभ और सकारात्मक ऊर्जा से भरा हो!

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

16 Jan, 08:26


ग़ज़ल शीर्षक: मोहब्बत की कालाबाजारी

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

सुन जान! जिस्म की आग किस कदर बढ़ चुकी है!
हर तरफ बस मोहब्बत की कालाबाजारी है!!

रूह रोती है, बेचैनियों का आलम है,
दिल के जज्बातों पर अब बंदिशें भारी हैं!!

ख्वाब टूटे तो चकनाचूर ऐसे होते है,
जैसे शीशे की हर किरच बेकरारी है!!

वो मुहब्बत, जो कभी पाक हुआ करती थी,
अब तो हर गली में सस्ती खरीदारी है!!

दिल लगाने से पहले सोच ले 'दिलबर',
आजकल रिश्तों में भी चलती दलाली है!!

हमने चाहा था इबादत सा मुकम्मल रिश्ता,
वो समझे कि ये दिल भी कोई बाज़ारी है!!

हां ! शायद यही चारों तरफ आग बाकी है.....

( इस ग़ज़ल का लेखक की जिंदगी से कोई सरोकार नहीं है )

©️kittu Write's.....✍️
16/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

16 Jan, 03:36


अश्क-ए-नादाँ से कहो बाद में पछताएँगे
आप गिरकर मेरी आँखों से किधर जाएँगे

अपने लफ़्ज़ों को तकल्लुम से गिराकर जाना
अपने लहजे की थकावट में बिखर जाएँगे

इक तेरा घर था मेरी हद-ए-मुसाफ़ित लेकिन
अब ये सोचा है कि हम हद से गुज़र जाएँगे

अपने अफ़्कार जला डालेंगे काग़ज़ काग़ज़
सोच मर जाएगी तो हम आप भी मर जाएँगे

इससे पहले कि जुदाई की ख़बर तुमसे मिले
हमने सोचा है कि हम तुमसे बिछड़ जाएँगे

Khalil Ur Rehman Qamar.........

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

15 Jan, 17:27


एक नदी
सबसे अधिक दूर तक बही
आंखों से निकली
होठों तक गई

एक वेदना
सबसे अधिक धैर्य से रही
दिल से उठी...!❤️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

15 Jan, 17:25


तुम यादों में रहो
तुम एहसासों में रहो
तुम ख्यालों में रहो
तुम ख्वाबों में रहो
पलकें जो ढलकाऊं
तुम मेरी पलकों पर रहो
मेरी ज़िंदगी की
खुशनुमा पलों में तुम हो
एक ऐसे साथी की तरह
जिसका अस्तित्व
तुम्हारे बगैर शून्य है
तुम ताउम्र मेरी रहो
बगैर किसी बंधन के...!❤️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

15 Jan, 15:14


कविता शीर्षक: तुम्हारा स्पर्श

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

तुम्हारा स्पर्श,
जैसे रूह तक उतर आया हो,
हर दर्द, हर खलिश,
जैसे किसी दुआ से मिटाया हो।

तुम्हारी खुशबू ने
जो हवा में बसाई थी बात,
वो एहसास मुझे,
मोहब्बत के करीब लायी थी रात।

जब तुम्हारे सीने पर
सर रखा मैंने चुपचाप,
वो सुकून ऐसा था,
जैसे मिल गया हो एक बेखौफ जवाब।

तुम्हारी बाहों की गिरफ्त,
सख्त होकर भी कोमल थी,
उसमें था एक यकीन,
जो हर बेचैनी से ग़ाफ़िल थी।

आंखों में बसे तुम्हारे एहसास,
हर ख्वाब को रोशन करते हैं,
तुम ज़िंदगी में रहो यूँ ही,
जैसे सांसें हर पल चलती हैं।

तुम्हारा होना,
मुझे मेरे होने का सबब देता है,
तुम्हारी मौजूदगी ही तो,
मेरे हर पल को मुकम्मल करता है।

हां! बस तुम्हारा स्पर्श......

©️ Kittu Write's....✍️
15/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

15 Jan, 04:26


🌸 जय श्री कृष्णा 🌸
🌷 राधे-राधे 🌷

हर नया सवेरा एक नई आशा का संदेश लाता है।
आज का दिन आपके सपनों को सच करने का दिन है।
सूरज की पहली किरण की तरह चमकिए और अपने लक्ष्य की ओर बढ़ते रहिए।

🌟 याद रखिए:
“कठिनाइयों से जो टकराते हैं, वही इतिहास रचते हैं।”

आत्मविश्वास रखिए, मेहनत कीजिए, और अपने इरादों को मजबूत बनाइए।
हर पल को पूरे दिल से जीने का संकल्प लीजिए।

🌸 श्री कृष्ण की कृपा से आज का दिन आपके लिए शुभ और मंगलमय हो।
🌷 शुभ प्रभात 🌷

Kittu Write's....✍️
15/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

12 Jan, 07:20


कविता शीर्षक: खामोशियों के जबाव

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

तुम अक्सर पूछते हो,
रातों को क्यों जागती हो?
क्यों इतना याद करती हो,
क्या मुझे खुद में नहीं पाती हो?

सुनो ना,
करते हो क्यों बताओ इतने सवाल,
क्या तुम मेरी खामोशियों को नहीं समझ पाते?
जो मेरी मजबूरियों का हर लम्हा है,
क्या तुम उसे कभी महसूस कर पाते?

सुनो,
तुम्हें मेरी चाहत का यकीन क्यों नहीं होता?
या मेरी तन्हाइयों का दर्द दिखता नहीं?
जो सवाल करते हो मेरे जागने का,
क्या कभी खुद से मेरी बेचैनी पूछते हो?

सुनो,
अगर खामोश लफ़्ज़ों को सुन सको,
तो शायद मेरे दिल का हाल जान सको।
ये जागी रातें, बस तुम्हारे लिए हैं,
जो कह न सकी, वो एहसास पढ़ सको।

सुनो,
शिकायत नहीं, ये एक दुआ है मेरी,
तुम्हारे नाम से ही जुड़ी हर खता है मेरी।
अगर तुम्हें मेरी मोहब्बत पर शक है,
तो मेरी धड़कनों में अपना नाम पढ़ सको।

सुनो,
अब और कुछ नहीं कहूंगी तुम्हें,
बस इतना जान लो,
जो जवाब तुम्हें तलाश है,
वो मेरी खामोशियों में ही पाओगे।

( ये सिर्फ एक कविता है रचनाकार की जिंदगी से इसका कोई सरोकार नहीं है। )

©️kittu Write's....✍️
12/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

12 Jan, 04:09


सुप्रभात 😊
जय श्री कृष्णा राधे राधे 🙏

🌟 हर दिन एक नई शुरुआत, हर पल एक नया मौका! 🌟

🔥 सपने वही सच होते हैं, जिनमें उड़ने का जज़्बा होता है,
जो मुश्किलों को ठोकर मारते हैं, जीत उन्हीं का किस्सा होता है।

💪 गिरना है तो गिरो, पर उठकर फिर चलो,
सफ़लता उन्हीं के कदम चूमती है, जो हार को चुनौती बना लो।

श्री कृष्ण कहते हैं:
'कर्म पर अधिकार है तुम्हारा, फल की चिंता छोड़ दो,
जो सच्चे दिल से मेहनत करता है, भाग्य उसके कदम चूमता है।'

🌸 तो उठो, जागो और अपने सपनों को हकीकत बनाओ,
क्योंकि तुम्हारी मेहनत ही तुम्हारी सबसे बड़ी ताकत है। 🌸

🌼 जय श्री कृष्णा 🌼
🌸 राधे राधे 🌸

आज का दिन आपका है—बस इसे जीत लीजिए!

Kittu Write's....✍️
12/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

11 Jan, 16:59


🌙 जय श्री कृष्णा, राधे राधे 🙏 🌙

🌸 चाँद की चादर ओढ़कर, सितारों की रोशनी में सवर जाओ,
🌼 राधे-कृष्ण का नाम लेकर सपनों की दुनिया में खो जाओ।
🌸 हर ख्वाब हो आपका मोती जैसा,
🌼 सुकून भरी हो रात का हर नज़ारा ऐसा।

रब से यही दुआ है हमारी,
आपकी रात हो खुशियों से भारी।

🌺 शुभ रात्रि 🌺
राधे राधे! 🌸💫

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

11 Jan, 15:52


कभी कभी चाहतों के बावजूद दूरियाँ आ ही जाती है,
हम नाराज़ नहीं होते बस मजबूरियाँ आ ही जाती है !
~Ahmad

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

11 Jan, 10:42


कविता शीर्षक: "अहसास"

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

अभी यहीं कुछ पल पहले
देखा तो था तुम्हें अपने सामने
उंगलियां छू रही थी तेरी हथेली को
ठंड का एहसास सा जागा था उनको।

मुस्कुरा रहे थे कुछ इस तरह
कहना हो जैसे कुछ अनकहा
आंखों में कुछ इकरार सा था
सच कहूं! मेरा भी दिल बेकरार था।

वो भीनी सी खुशबू आज भी तो बरकरार थी
मदहोश करने के लिए बारिश की फुहार थी
सुनो! आज भी तो तुमने डांट दिया
अनकही तकरार में प्यार जता दिया।

यूं आगोश में अपने
चुपके से क्यों समेट लिया
हर दर्द, हर उलझन को
अपने लम्हों में बुनके सिल लिया।

सांसों में घुल रही थी वो बात,
जो कभी लफ्जों में न कह सके थे हम।
तुमने मेरी खामोशी को पढ़ लिया,
और मुस्कान में बदल दिया हर गम।

वो छुअन, वो एहसास आज भी बाकी है,
जैसे रूह में बसी कोई अनदेखी मुलाकात बाकी है।
तेरे होने का वो मीठा सा वहम,
अब भी मेरे हर पल का साक्षी है।

हां! अभी यहीं कुछ पल पहले.....

©️Kittu Write's...✍️
11/1/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

11 Jan, 05:23


ग़ज़ल: ख्वाबों के अंदर

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

डोलियां सज रही हैं ख्वाबों के अंदर,
मंज़िलें तय हो रही हैं सवालों के अंदर।

चमक उठे हैं सितारे ख्यालों के अंदर,
सज रही है मोहब्बत भी सांसों के अंदर।

हर तमन्ना को अब एक रास्ता मिल गया,
रौशनी बस रही है अंधेरों के अंदर।

तेरे आने की आहट से जादू का है समन्दर,
दिल के वीरान कोने उजालों के अंदर।

जिनकी दुआओं में ताक़त मुकद्दस रही,
नाम उनका लिखा है रिसालों के अंदर।

अब ख्वाबों में सजे हैं जिनके निशां,
वो पल हमेशा रहेंगे दिलों के अंदर।

जिन्हें अब कोई न देख सके कभी,
वो जज़्बात बस रहेंगे जज़्बातों के अंदर।

देखो "किट्टू" ये देख रही है हर तरफ नूर है,
बरस रही है खुशी अब ख्यालों के अंदर।

हां! डोलियां सज रही हैं...

©️kittu Write's...✍️
11/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

11 Jan, 04:18


🌸 सुप्रभात! 🌸
जय श्री कृष्णा, राधे राधे 🙏

आज का दिन आपके लिए खुशियों से भरा हो,
जैसे फूलों में हर सुबह नये रंग खिलते हैं।
अपने सपनों को पंख लगाइए और उन्हे ऊँचाईयों तक उड़ाइए।
आपका हर कदम सफलता की ओर बढ़े,
क्योंकि जब इरादे मजबूत होते हैं, तो रास्ते खुद बन जाते हैं।

🌞💫 राधे राधे! 💫🌞

Kittu Write's....✍️
11/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

10 Jan, 16:33


नज़्म शीर्षक: रात के ख्वाबों का आंचल

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

ओढ़ कर रात चांदनी का आंचल सोने चली है,
ख्वाबों की बाहों में थक कर खोने चली है।

सितारों ने चुपके से लोरी सुनाई,
तन्हाई की पलकों पर रोने चली है।

हवा ने सरगम छेड़ी है धीमे सुरों में,
धड़कन कोई गहरी बात बोने चली है।

धुंधले उजालों का दामन समेटकर,
आसमान को यादों से भिगोने चली है।

आंसुओं की कतरन ने दामन छुआ है,
खुद को सुकून के पल से जोड़ने चली है।

सहर की पहली किरन जब देगी पुकार,
रात खामोशी से उसे सौंपने चली है।

अब ख्वाबों के दामन में बस चैन होगा,
रात आखिरी हसरत को भी खोने चली है।

हां ! ख्वाबों में बात अब होने लगी है.....

©️kittu Write's....✍️
10/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

10 Jan, 13:40


तेरी ज़ुल्फ़ों के साए में शाम कर लूं,
तेरे इश्क़ में खुद को तमाम कर लूं।
तेरा दीदार मेरी बंदगी बन जाए,
हर सांस को तेरे नाम कर लूं।

ऐसी ही अच्छी अच्छी शायरी पढ़ने के लिए ज्वाइन करें 🤟

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

10 Jan, 04:44


🍃🍃🍃🍃🍃🍃🍃
सुविचार
🍃🍃🍃🍃🍃🍃🍃
      मिलता तो बहुत है
        इस जिंदगी में,
    बस हम गिनती उसी
         की करते है,
   जो हासिल न हो सका

  🍃🍃🍃🍃🍃🍃🍃🍃
       सुप्रभात
🍃🍃🍃🍃🍃🍃🍃

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

10 Jan, 04:25


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो, कुछ कहूं??

मेरी प्रिय ख्वाहिशों,

तुमसे बात करना जैसे अपनी आत्मा के उस हिस्से से संवाद करना है, जिसे कभी पूरी तरह समझा ही नहीं। तुम मेरे करीब हो, लेकिन फिर भी तुमसे दूरी कभी खत्म नहीं हो पाई।

तुम्हारा आना हमेशा उम्मीद जैसा था। तुम्हारे साथ मैंने अनगिनत सपने देखे—कुछ छोटे, कुछ बड़े, और कुछ ऐसे जो अधूरे रह गए। लेकिन तुम्हारा अधूरा रह जाना भी मेरे लिए एक ताकत बन गया।

तुमने मुझे सिखाया कि हर अधूरा ख्वाब भी जिंदगी को जीने का नया नजरिया देता है। हर रास्ता मंज़िल तक नहीं जाता, पर वो रास्ते भी जरूरी हैं। तुमने गिरकर संभलना और हर हार में एक नई शुरुआत देखना सिखाया।

तुम अधूरी हो, पर तुम्हारा होना ही काफी है। शायद तुम्हें पूरा करने की कोशिश में ही मेरी असली कहानी छुपी है। वादा करती हूँ, चाहे जितने भी तूफान आएं, मैं तुम्हें कभी भुलाऊंगी नहीं। तुम मेरी प्रेरणा हो, मेरी पहचान हो।

तुम्हारी अपनी
ख्वाहिशों के सफर में...

लव यू जिंदगी ❤️

©️ Kittu Write's...✍️
10/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

10 Jan, 03:43


सुप्रभात आप सभी को 🙏
🌺🌸 जय श्री कृष्णा राधे-राधे 🌸🌺

बिखरती किरनों का पैग़ाम,
हर दिल को दे सुकून का सलाम।
खुशबू-सी बहे हवाओं में,
चले ज़िंदगी नए ख्वाबों के मकाम।

हर सुबह एक नया आगाज़ है,
हर ख्वाब को पूरा करने का अंदाज़ है।
चाय की पहली चुस्की के संग,
हर दर्द को भूल जाने का साज़ है।

सूरज की किरणें जब आँगन में दस्तक देती हैं,
ज़िंदगी हर ख्वाहिश को नया जादू देती है।
मुस्कुराइए, ये सुबह आपकी है,
खुदा ने इसे खास बनाया है।

🌼 जय श्री कृष्णा 🌼 राधे-राधे 🌼
गुड मॉर्निंग!
आज का दिन श्री कृष्ण की कृपा से ख़ुशियों से भरा हो,
ख्वाब हक़ीक़त बन जाएँ,
और ज़िंदगी प्रेम और आनंद से महक जाए।


Kittu Write's.....✍️
10/1/2025

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

09 Jan, 12:27


Wah bhai sa mast colab 👏
Khoob acha likho always 😊

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

09 Jan, 09:05


Wah 👌

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

09 Jan, 07:38


यूं इस कदर मदहोश हुए ,
कि खुद से रूबरू हो गए,,
शुक्रिया! ए जिंदगी,
कि तुझसे दूर हो गए ,,

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Dec, 04:57


सुनो दिलबर

मैं ना समझ हु मुझे समझा देना

तुम क्या चाहती हो मुझे बता देना

Irfan...✍️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Dec, 03:10


सुनो यार

कल ही समझाया था
आज वो फिर भूल गया

था एक उम्मीद का तारा
जमीन पर टूट कर आ गया

Irfan...✍️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Dec, 03:08


परेशानियों में तों याद भी ना किया,

बस एक सुकून की राहत-ए-मौत मांगी है..

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Dec, 01:51


जौहर / सती

जौहर की ज्वाला में जो जल उठीं,
मर्यादा की महिमा में ढल उठीं।
शोणित से इतिहास रच गईं,
स्वाभिमान की परिभाषा बन उठीं।

जब दुश्मन ने सीमा लांघी थी,
धरती की अस्मिता पर आंच डाली थी।
तब ये नारियां देवियां बनीं,
मृत्यु को भी मुस्कुराकर पाली थी।

वो जौहर का अलख जगाने वाली,
लपटों में भी ठंडी छांव देने वाली।
समर्पण और साहस की वो मूरत,
लाज बचाने को थीं सब कुछ त्यागने वाली।

सती की वो कथा जो अमर बनी,
हर युग में प्रेरणा का स्वर बनी।
न झुकी, न टूटी, न भय दिखा,
हर शहादत की नींव में वो पत्थर बनी।

दुश्मन कांपा, पर उनका हृदय अडिग था,
हर दर्द, हर अग्नि में उनका हृदय निधि था।
आज भी गूंजती हैं उनकी गाथाएं,
हर हृदय में वो अमर अभिलाषा बनीं।

ये महाकाव्य है साहस की, बलिदान की,
मर्यादा की, और अनमोल सम्मान की।
जौहर के ज्वार से जो जन्मी कथा,
अनंत काल तक गूंजेगी उनकी व्यथा।


रावण जी 👏

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

27 Dec, 14:14


शीर्षक - किसी को इश्क़ में धोखा ना मिले..

किसी ने लिखा , तुझे मैं दर्द लिखूँ या दर्द की दवा लिखूँ , महबूब लिखूँ या बेवफ़ा लिखूँ ?
हमने कहा ,  ना दर्द लिखो , ना दवा लिखो , और ना बेवफ़ा लिखो , मेरा कहा मानो तो उसके लिए , उसके नाम एक दुआ लिखो ।

बेवफ़ाई तो उसने की है , तुमने तो नहीं , तो तुम्हारे मुँह से उसके लिए दुआ ही निकलेगी , ऐसा नहीं कि वो भी तुम से दूर रह कर ख़ुश रहेगी !

क्या मालूम कि क्या थी उसकी मजबूरी , जो इस तरह से करनी पड़ी उसको तुम से दूरी ?
क्या पता कि आख़िर क्यूँ इस तरह है मुँह फ़ेरा उसने , यक़ीनन तुम्हारी ज़िंदगी में कर दिया है अँधेरा उसने ।

मुमकिन है कि रीति रिवाजों की फ़ौलादी दीवारों के नीचे दफ़न हो गया हो उसका प्यार , शायद वो आज भी हो तुमसे मिलने तो बेक़रार ।

या फिर रसूक ने गला घोंट दिया हो उसके प्यार का , उसे मौक़ा ही ना मिल पाया हो , करने को प्यार के इज़हार का ।

शुक्र करो कि तुम्हारे पास है सुनहरी यादें , वो रिमझिम फुहारें ,करते थे जब तुम दोनो मीठी मीठी बातें ।

अधिकतर प्रेम कहानियों का आग़ाज़ तो अच्छा ही होता है , लेकिन अंजाम खुदा जाने , आजकल तो ऐसे ही हैं ज़माने ।

तुमने तो सच्चा प्यार किया है , इसीलिए तो बिछड़ने का शोक है , तुमने तो नहीं दिया धोखा , मौला ने चाहा तो उससे मिलने का शायद मिल जाए एक और मौक़ा ।

जानता हूँ , दिल का टूटना , बहुत मुश्किल से वक़्त गुज़रता है , ये ज़ख़्म नहीं भरता है , बाक़ी की उम्र इंसान ना जीता है ना मरता है !


रावण जी

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

27 Dec, 09:35


सखी कहे, "जो छन-छन करे,
रूप सुनहरी, रंग भरे।"
मैं कहूँ, "सूरज का तेज नहीं,
पायल है जो पांव धरे।"

सखी कहे, "जो गुन-गुन करे,
शीतलता से मन भरे।"
मैं कहूँ, "कोयल का गीत नहीं,
घड़ा है जो जल से भरे।"

सखी कहे, "जो संग सदा,
हरपल तुझ संग रहा।"
मैं कहूँ, "प्रियतम का साथ नहीं,
छाया है जो धूप सहा।"

सखी मुस्काई, मैं शरमाई,
बात समझ, चुप रह जाई।

रावण जी 👏

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

27 Dec, 09:25


"स्पर्श की गहराई"

तेरी सांसों की सरगम में,
मेरा हर एहसास बसता है।
तेरी बाहों की गर्मी में,
मेरा सारा जहां महकता है।

नज़रों की ख़ामोशी कहती है,
जो शब्द कभी न कह पाए।
तेरे करीब आते ही,
दिल की धड़कन भी चुप हो जाए।

हाथों की छुअन में छुपा,
सदियों का अपनापन।
तेरे जिस्म से लिपटकर,
मिलता है सुकून का दर्पण।

ये पल ठहर जाए,
वक्त भी रुक जाए।
तेरे प्यार की आगोश में,
जिंदगी खुद को पा जाए।

ये प्रेम, ये संगम,
एक अमर कविता है।
तेरे साथ हर लम्हा,
मेरा सबसे सुंदर सपना है।

रावण जी 👏

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

27 Dec, 06:33


दर्द की भी अपनी एक अदा है,

ये तो सहने वालों पर ही फ़िदा है..

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

26 Dec, 12:13


ग़लतफ़हमी में जीते थे हम बरसों,
सच का आईना जब देखा तो रो पड़े।
वो जो अपने थे, अब पराए हो गए,
सिर्फ ग़लतफ़हमियों के साये में खो गए।

रावण जी

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

26 Dec, 06:44


राम और सीता की प्रेम कहानी भारतीय संस्कृति और धार्मिक ग्रंथों में आदर्श प्रेम और त्याग का प्रतीक है। यह कहानी वाल्मीकि रामायण और अन्य ग्रंथों में वर्णित है, जिसमें उनके पवित्र और आदर्श रिश्ते का वर्णन किया गया है।

प्रेम की शुरुआत

सीता और राम का मिलन उस समय हुआ जब राम अपने भाई लक्ष्मण और ऋषि विश्वामित्र के साथ राजा जनक की नगरी मिथिला में गए थे। जनक ने सीता के लिए स्वयंवर आयोजित किया था, जिसमें यह शर्त थी कि जो शिवधनुष को उठाकर उसकी प्रत्यंचा चढ़ाएगा, वही सीता से विवाह कर सकेगा।
राम ने शिवधनुष को सहजता से उठाकर उसकी प्रत्यंचा चढ़ा दी, और यह देखकर सीता ने मन ही मन उन्हें अपना पति मान लिया। इसके बाद राम और सीता का विवाह हुआ, जो उनके प्रेम और विश्वास की नींव बना।

वनवास और कठिनाइयाँ

राम के अयोध्या लौटने के बाद, राजनीतिक कारणों से उन्हें 14 वर्षों का वनवास मिला। सीता ने अपने पति के साथ वनवास जाने का निश्चय किया, यह दिखाते हुए कि उनका प्रेम परिस्थितियों से परे है।

रावण द्वारा सीता का हरण

वनवास के दौरान सीता का अपहरण लंका के राजा रावण ने किया। यह राम और सीता के प्रेम और समर्पण की परीक्षा थी। राम ने सीता को बचाने के लिए अपनी सेना, जिसमें हनुमान और वानरराज सुग्रीव जैसे सहयोगी थे, के साथ लंका पर चढ़ाई की।

आदर्श प्रेम का प्रतीक

लंका विजय के बाद राम ने सीता को अग्नि परीक्षा देने को कहा, ताकि उनके पवित्रता की पुष्टि हो सके। सीता ने अपने पवित्रता और प्रेम का प्रमाण देकर यह सिद्ध कर दिया कि उनका प्रेम सच्चा और अनन्य है।

वियोग और पुनर्मिलन

हालांकि, राम और सीता के जीवन में कई कठिनाइयाँ आईं, लेकिन उनका प्रेम और त्याग भारतीय संस्कृति में आदर्श बने रहे। उनकी प्रेम कहानी यह सिखाती है कि सच्चा प्रेम त्याग, समर्पण, और धैर्य का दूसरा नाम है।

राम और सीता की यह कहानी आज भी हर युगल के लिए प्रेरणा है और भारतीय साहित्य, कला, और संस्कृति का एक अनमोल हिस्सा है।

राम-सीता के सात वचन:

1. पहला वचन:
पति-पत्नी एक-दूसरे के प्रति सच्चाई और निष्ठा बनाए रखेंगे। जीवन में हर परिस्थिति में एक-दूसरे का साथ देंगे।


2. दूसरा वचन:
दोनों अपने जीवन में एक-दूसरे की खुशियों और दुखों में भागीदार होंगे। परिवार की सुरक्षा और कल्याण में योगदान देंगे।


3. तीसरा वचन:
पति-पत्नी अपने धर्म, समाज और परिवार के प्रति अपने कर्तव्यों का पालन करेंगे।


4. चौथा वचन:
जीवन के हर सुख-दुख में एक-दूसरे का सहारा बनेंगे और धैर्य व प्रेम के साथ समस्याओं का समाधान करेंगे।


5. पाँचवां वचन:
दोनों अपने बच्चों और परिवार के सदस्यों के पालन-पोषण और उनके भविष्य के प्रति जिम्मेदार होंगे।


6. छठा वचन:
पति-पत्नी एक-दूसरे के आदर्श और विश्वास को सम्मान देंगे। वे एक-दूसरे की भावनाओं और विचारों को समझेंगे।


7. सातवां वचन:
जीवन भर साथ निभाने की प्रतिज्ञा करेंगे और किसी भी परिस्थिति में एक-दूसरे को नहीं छोड़ेंगे।



ये सात वचन आदर्श दांपत्य जीवन के मूल सिद्धांतों को दर्शाते हैं। राम और सीता का विवाह इस बात का प्रतीक है कि पति-पत्नी को प्रेम, त्याग, और विश्वास के साथ जीवन व्यतीत करना चाहिए।

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

25 Dec, 13:04


मोहब्बत उसे भी बहुत है मुझसे,

जिंदगी सारी इस वहम ने ले ली..

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

25 Dec, 08:43


इतिहास और पुराण ही कहते है
औरत क्रोधित हो तो हाथ नहीं उठाते
श्रृंगार करके तिलक लगा के उसकी पूजा करके हाथ जोड़ते है

आशुतोष गुप्ता............

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

25 Dec, 07:07


मेरी ये अदा दुनिया को रास नहीं आई,

दिल  तो  टूटा  है  पर  आवाज़ नहीं  आई..

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

25 Dec, 05:09


सुनो जॉना

अब हमारे इंतजार की घड़ियां खत्म होगी

अब तुम होगी में रहूंगा और मोहब्बत होगी

Irfan...✍️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Dec, 18:42


🎄🎄🎄🎄🎄🎄🎄🎄🎄
"क्रिसमस🎄 की धुन पर नाचे दिल,❤️
आपके लिए खुशियों की बहार है।🥰
सांता क्लॉज़ की सवारी से🏡,
आपके घर में खुशियों की बरसात हो।"🥰🥰🥰🎄🎄🎄🎄🎄



"Heart❤️dancing to the Christmas🎄 tune,
A season of joy for you.
With Santa Clause' 🎅 arrival,
May a downpour of joy fill your home

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Dec, 14:54


नहीं उलझा करती अब मैं किसी से

बस खुद की उलझन में खुश हूं...!??
☘️🌹Rubiya🙃🌸

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Dec, 13:23


Last post in the group
🙏मैं यह ग्रुप छोड़ रहा हूं।🙏

यदि संभव होगा तो भविष्य में कुछ समय बाद फिर आपका साथ देने के लिए वापस आऊंगा । लेकिन अब मुझे यहां समयोजन करने में कठिनाई हो रही है।

यहां बहुत से लोग हैं जो मुझसे बहुत खफा हैं, मुझसे नाराज़ रहते हैं, लेकिन इस बात के लिए, कोई बहस सलाह नहीं, कोई बातचीत नहीं। तों इच्छा के विरुद्ध यहां बहुत अधिक समय बिताने का कोई मतलब नही है
जानें अनजाने मेरे व्यवहार से किसी को ठेस पहुंची हो तो क्षमाप्रार्थी हूं। मैं आपके उज्जवल भविष्य की शुभकामनाएं देता हूं...
🌹🙏🌹

Take care 🤗🤗
Bye bye 😭😭👋👋

ऐसा लिखकर बगल वाले ग्रुप का admin अपनी gf के साथ फरार हो गया है देखिए वापस आता है कि नहीं....
खैर मुझे क्या  👏👏

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Dec, 01:40


🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
🌸❍─⃜͢͢𓆩〭⃛〬💗𓆪 ⃪͢राधे राधे
𝐆𝐨𝐨𝐝 𝐌𝐨𝐫𝐧𝐢𝐧𝐠
🌿🪷𝐇𝐚𝐯𝐞 𝐚 𝐧𝐢𝐜𝐞 𝐝𝐚𝐲 🤍᪳𝆺꯭𝅥⎯꯭̽⎯꯭🏵️
🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
☹️☹️☹️🤩😜🥳😖☹️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

23 Dec, 11:19


एक तेरा मोह ही ले डूबा हमे
वरना हमे किसी की परवाह ना थी....!??
☘️🌹Rubiya🙃🌸

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Dec, 16:15


🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
🌸❍─⃜͢͢𓆩〭⃛〬💗𓆪 ⃪͢राधे राधे
𝐆𝐨𝐨𝐝 Night
🌿🪷𝐇𝐚𝐯𝐞 𝐚 𝐧𝐢𝐜𝐞 Dream 🤍᪳𝆺꯭𝅥⎯꯭̽⎯꯭🏵️
🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
☹️☹️☹️🤩😜🥳😖☹️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Dec, 14:41


मैंने कब कहा मेरे लिए दुनिया जमाना छोड़ दो,
मुझे पाना है न तो सुनो मुझे आजमाना छोड़ दो !
~Ahmad

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Dec, 09:54


कोई लाख कोशिश कर ले पीछे हटाने की
पर जिनके होंसलो में दम हो
फिर एक नही चलती जमाने की ...!!?
Aapko lakh lakh badhaiyan kittu didi award Milne ki Khushi me ....
Many many congratulations 💖🎉🎉🎉🎉🎂🎉🎉
⎯᪵⎯꯭‌♥️꯭ῑ‌᧘‌ᴍ᭄‌‌🐚𝅥‌꯭𝆬‌᭕ᬁ꯭꯭꯭꯭꯭꯭꯭𝗞꯭ɪ‌֟፝ƚ꯭ƚυ‌꯭‌ ‌‌⃪᭕ᬁ ‌⃪♥️꯭꯭꯭꯭

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Dec, 07:33


सुनो जॉन

मोहब्बत का कोई इरादा तो नहीं था

मगर मोहब्बत थी मोहब्बत से हो गई

Irfan...✍️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

21 Dec, 01:54


🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
🌸❍─⃜͢͢𓆩〭⃛〬💗𓆪 ⃪͢राधे राधे
𝐆𝐨𝐨𝐝 𝐌𝐨𝐫𝐧𝐢𝐧𝐠
🌿🪷𝐇𝐚𝐯𝐞 𝐚 𝐧𝐢𝐜𝐞 𝐝𝐚𝐲 🤍᪳𝆺꯭𝅥⎯꯭̽⎯꯭🏵️
🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
☹️☹️☹️🤩😜🥳😖☹️

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

20 Dec, 16:38


🙁🙁🙁🙁🙁🙁☹️🥳
🌸❍─⃜͢͢𓆩〭⃛〬💗𓆪 ⃪͢राधे राधे
𝐆𝐨𝐨𝐝 Night
🌿🪷𝐇𝐚𝐯𝐞 𝐚 𝐧𝐢𝐜𝐞 Dream 🤍᪳𝆺꯭𝅥⎯꯭̽⎯꯭🏵️
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❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

01 Dec, 14:07


Channel name was changed to «❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️»

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

01 Dec, 08:01


किट्टू की कलम से ✍️

भाभी सा आपके लिए ❤️

आपकी मुस्कान से रोशन है हमारा घर,
आपकी बातों में है कोई मीठा सा असर।
हर दिन आपकी तरह, सुंदर हो ये जहाँ,
आपके जैसा दिल हो तो दुनिया भी लगे सुहाना।

भाभी, आप हो हमारे जीवन का एक प्यारा हिस्सा,
आपकी मौजूदगी से है यह घर हमेशा खुशी से भरा।
आपका प्यार और स्नेह, जैसे अमृत की बूँदें,
आपकी दुआओं से ही तो हमारी जिंदगी की राहें बनती हैं।

आपकी तरह हो कोई नहीं, दिल से है यह दुआ,
सदा खुश रहो आप, और प्यार भरा रहे आपका हर पल का सफर।

हैप्पी बर्थडे भाभी सा ❤️🎈💝🎂🎉🎉💝💝🎈🎈🎂🎂🎉🎂💝💝🎈🎈💝💝🎂🎂🎉🎂💝💝🎈🎈🎈🎂🎂🎉🎉💝💝🎈💝🎂🎂🎉🎉🎂🎂💝🎈🎈💝🎂🎉🎉🎂💝🎈💝🎂🎉🎉🎉

Party 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳 🥳

#HappyBirthday #BhabhiKiKavita #FamilyLove #Blessings❤️

Kittu Write's.....✍️
1/12/2024

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

01 Dec, 06:37


इज़हार पे भारी है ख़ामोशी का तकल्लुम,

लफ्ज़ों की ज़ुबान और है, आँखों की ज़ुबान और......🔥❤️💯

(तकल्लुम, बात करना)

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

01 Dec, 06:25


तेरी हर याद अपना हिस्सा अलग मांगने लगी.....
दिल मे जायदाद के झगड़े पड़े हुए हैं......🔥🔥

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

01 Dec, 03:21


कहानी अभी और उलझेगी
फिर लोग पढ़ते में घबरायेंगे

आशुतोष गुप्ता..........
Mission Impossible

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 18:42


खुदा बुरी नज़र से बचाए आप को
चाँद सितारों से सजाए आप को
गम क्या होता है ये आप भूल ही जाओ
खुदा ज़िन्दगी मे इतना हँसाए आप को
जीवन में आर्शीवाद मिले बड़ों से, सहयोग मिले छोटों से,
ख़ुशी मिले दुनिया से, प्यार मिले सब से,
यही दुआ है मेरी रब से।
जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं  सिस्टर
💐𝐇𝐚𝐩𝐩𝐲💐 🎂 𝐁𝐢𝐫𝐭𝐡𝐝𝐚𝐲 🎂 🙏

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 18:31


Channel name was changed to «ᎻᎪᏢᏢᎽ ᏴᏆᎡᎢᎻᎠᎪᎽ ᏚᎻᎬᎻᏃᎪᎠᏆ 🍿🍫»

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 18:30


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

हैप्पी बर्थडे भाभी सा 😘😘😘😘😘कान्हा जी आपकी सारी मनोकामनाएं पूर्ण करें 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌 🙌

कुछ शब्द और हमारा प्यार आपके लिए ❤️❤️❤️❤️❤️

आपकी हंसी में छुपा है सुख का अहसास,
आपकी बातों में बसी है सच्ची प्यार की आस।
आपके बिना ये घर सूना सा लगता है,
आपके आने से ही हर दिन रोशन सा लगता है।

हर कदम पर आपकी दुआओं का असर है,
आपकी मौजूदगी से हर दिल में खुशी का असर है।
आपकी तरह हर किसी का दिल मासूम नहीं होता,
आपकी तरह कोई इतना प्यारा नहीं होता।

आपके होने से है हमारी ज़िन्दगी में रंग,
आपके बिना सब कुछ अधूरा सा लगता है संग।
जन्मदिन की शुभकामनाएं भाभी, हमेशा खुश रहो आप,
हमारी दुआओं से सजा रहे आपका हर ख्वाब।

भाभी सा सारा केक अकेले मत खाना 😂😂😂😂😂

#BhabhiKiKavita #HappyBirthday #Blessings #FamilyLove

Kittu Write's....✍️
1/12/2024

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 12:55


बेकरार थे, बेकरार हैं, बेकरार रहेंगे,
बेकरारी में भी तेरे दीदार को बेकरार रहेंगे।

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https://t.me/lafze_ruh

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 08:51


बादल बरखा सावन पानी रहने दो
इन आँखों में याद पुरानी रहने दो

कितना बदलोगे आखिर में मुझको तुम
मुझमें थोड़ी खुद की निशानी रहने दो

जान चुके हैं इक दूजे को हम दोनों
मेरी मानो फिर से कहानी रहने दो

इल्म हुआ तो लोग तमाशा कर देंगे
सारी बातें सिर्फ जुबानी रहने दो

छोड़ो भी ये इश्क वफा दीवानापन
दिल में दिल की बात रुहानी रहने दो

आशुतोष गुप्ता............

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

30 Nov, 05:57


खुशियां छोटी छोटी होती है
पर हम उन्हें ढूंढने में पूरी ज़िंदगी गुज़ार देते है

आशुतोष गुप्ता........

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

29 Nov, 16:48


ग़ज़ल शीर्षक: ख़ामोशियों का सफ़र

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

कभी ख़ामोशियां रास आ जाती है मुझे,
बिन कहे जो कहा, वह सिखा देती हैं मुझे।

कभी यादों के साए, जैसे चाँद की रोशनी,
गुज़रे लम्हों का राज़ बता देती हैं मुझे।

कभी चाहत के रंग बिखरते हैं हवाओं में,
जो अधूरी थी बात, वह सजा देती हैं मुझे।

कभी आंसुओं में भी एक छुपी सी हँसी,
ख़ुदा तक मेरी सदा पहुंचा देती हैं मुझे।

कभी बिखरे हुए अरमानों की गहरी चुप ,
तेरे करीब होने का ख्वाब दिखा देती हैं मुझे।

कभी तन्हाइयाँ भी ऐसी ममता से घेरती हैं,
जैसे हर ज़ख्म का हल्का सा मरहम दे देती हैं मुझे।

कभी मेरे दिल की उलझन भी सुलझ जाती है,
तू दूर होकर भी पास हो जाती हैं मुझे।

कभी खो जाने का डर सताता है भीतर,
मगर तेरी यादें रास्ता दिखा देती हैं मुझे।

कभी ख्वाबों में खो जाती हूँ मैं तुझसे,
जैसे हर सुबह मेरी नींद चुरा लेती हैं मुझे।

कभी ये ख़ामोशियां, तुझे ही आवाज़ देती हैं,
तू अनकही बातों को समझा देती हैं मुझे।

हां! अक्सर खामोशियां रास आ जाती है मुझे.....

Kittu Write's.....✍️
29/11/2024

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

29 Nov, 05:14


सुनो राधे, मन है चकोर और तुम चंचल,
प्रेम की गागर लिए, जैसे घटा निर्मल।

चाहे संग तुम्हारे, ये हर क्षण बिताऊं,
हर सांस में बस तुम्हें ही बसाऊं।

तुम्हारी हंसी से खिले हैं मधुबन,
तेरे बिना सूना है सारा जीवन।

राधे, तेरी राहों में बिछा दूं सपन,
चकोर-सा देखूं तुझमें अपना गगन।

ऐसी ही खुबसूरत और प्यारी पोस्ट पढ़ने के लिए ज्वाइन करें 🤟

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❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

29 Nov, 04:01


आप सभी का तहेदिल से शुक्रिया❤️
इस चैनल को आगे बढ़ाने के लिए
सफ़र छोटा नहीं था मुमकिन आप सभी ने बनाया 🙏

शुक्रिया 1700 subscriber's के लिए 🤟

🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫🍫

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

29 Nov, 03:55


मेरी मोहब्बत की किताब में इतने ही लफ्ज़ बाकी रहे,
जो मैंने लिखें, तुमने कभी न पढ़ें,,
खामोश रह गए मेरे जज़्बात,
और तुम किसी और के पहलू में जाकर खो गए,,

गुड मार्निंग एवरीवन ❤️

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❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Nov, 11:24


❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️ pinned «ये जो मुस्कुरा कर कत्ल कर जाते हो , मालूम होता है जैसे मेरी दुनिया के शहजादे हो ,, ऐसी ही अच्छी अच्छी शायरी पढ़ने के लिए ज्वाइन करें 🤟 https://t.me/lafze_ruh»

❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Nov, 11:17


ये जो मुस्कुरा कर कत्ल कर जाते हो ,
मालूम होता है जैसे मेरी दुनिया के शहजादे हो ,,

ऐसी ही अच्छी अच्छी शायरी पढ़ने के लिए ज्वाइन करें 🤟

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❤️ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

28 Nov, 10:18


कविता शीर्षक: यूं मुस्कुरा रहा था चांद

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

यूं मुस्कुरा रहा था चांद जैसे कुछ था दफ़न उसके सीने में,
तकल्लुफ था उसे अपनी तन्हाई की कहानी कहने में।

चुपचाप कुछ बयां कर रहा था वो,
जैसे किसी दर्द से गुज़र रहा था वो।

झील के पानी में थकी सी तस्वीर बनाता रहा,
जैसे अपने अश्क खुद से छुपाता रहा।

उसकी चांदनी भी कुछ सहमी-सहमी सी थी,
शायद वो खुद अपनी रौशनी से शर्मिंदा सी थी।

चाँद की खामोशी में कई राज़ छुपे थे,
जिन्हें छुपाने की चाह में अनगिनत अरमां मिटे थे।

सिलसिले थे दर्द के, मगर वो मुस्कुराता रहा,
जैसे अपने ही दर्द का वो हो शिकार मिटता रहा।

आहिस्ता-आहिस्ता वो अपनी कहानी कहने लगा,
कुछ था उसकी आँखों में, जो वो चुपचाप सहने लगा ।

आकाश में तन्हा घूमा करता वो,
जैसे बिछड़े किसी को फिर से पाने की चाहत हो।

कभी रौशनी, कभी अंधेरे में लुका था,
शायद खुद से डरता था, मगर फिर भी मुस्कुराता था।

उसकी आँखों में एक खालीपन था,
जैसे बेदर्दी से किसी ने उसे क़त्ल किया था।

हां! यूं मुस्कुरा रहा था चांद.......

©️ Kittu Write's..... ✍️
27/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

24 Nov, 08:15


अफवाह थी कि मुझे इश्क हुआ है,

लोगों ने पूछ पूछ कर आशिक बना दिया..

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Nov, 13:15


कंचे का खेल बड़े गजब के
दसियों साथ खेल जाते,
गाँव गली चौक चौराहों में
बच्चे खेलते दिख जाते।

भूले बिसरे बचपन लोगों को
अब भी याद आते,
खुशी डुग्गू आदि और शुभ
सपनों में दिख जाते।

रंग-बिरंगी सुन्दर सजीली
कंचों की वो गोलियाँ,
खेल- खेल में लड़ पड़ते
दोस्त यार हम जोलियाँ।

खोने ना देना इस खेल को
ओ प्यारे न्यारे बच्चे,
गड्ढे बनाओ या खींचो गोला
जीत लो सारे कंचे।

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Nov, 10:16


उस में जिंदा हूं मैं मुझमे जिंदा हैं वो,

उसकी दुनियां हूं मैं मेरी दुनियां हैं वो...

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

22 Nov, 02:43


बस तुम थामे रहना हाथ उम्र भर ,
वादा है नहीं पूछेंगे कि जाना कहां है.. ❤️🌻

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

21 Nov, 13:29


मैं भी तेरे ईश्क में आतंकवादी बन जाऊं,

तुझे बांहो में ले के बम से उड़ जाऊ...!
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

21 Nov, 12:49


बड़ी बड़ी दुनिया छोटे छोटे रास्ते,

बस हम जी रहे हैं सिर्फ़ तेरे वास्ते..
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

20 Nov, 14:20


एक टॉपर लड़की थी परसेंटेज की रानी,

हमने पटा ली और फेल हो गई महारानी..
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

20 Nov, 07:22


अपने आप को विकसित करें, याद रखें,
गति और विकास जिंदा इंसान की निशानी है

राधे राधे 💐
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

19 Nov, 12:27


वस्ल के दिलकश लम्हों जैसी वो लड़की,
इश्क की मीठी यादों जैसी वो लड़की।

गुन गुन करती होठों पर आ जाती है,
किसी गजल के मिसरों जैसी वो लड़की।

जो भी उसको सुनता है खो जाता है,
है उल्फत के किस्सों जैसी वो लड़की।

गूंजा करती दिल की हर एक धड़कन में,
लता –रफी, के नगमों जैसी एक लड़की।

रावण जितनी तीखी, उतनी मीठी है,
महबूबा के तानो जैसी वो लड़की।

रावण जी

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

19 Nov, 09:20


इग्नोर'✍️

शब्द कोई भी बड़ा या छोटा नही होता लेकिन शब्दो के मायने छोटे बड़े होते हैं, कभी-कभी बड़े शब्द या बड़ी चीजे जो नहीं कर पाती वो छोटी-छोटी चीजें कर देती हैं !

आप इग्नोर लिख कर देखो गूगल पर दुनिया भर की चीजे आ जायेंगी...!जैसे...!

इग्नोर का अर्थ क्या होता है, इग्नोर करना किसे कहते हैं, कोई इग्नोर करें तो क्या करना चाहिए..? किसी को इग्नोर कैसे करें, कोई इग्नोर करे तो हम कैसे रिएक्ट करें, वगैरा-वगैरा......!

पर कभी ये नही आता इग्नोर हुआ व्यक्ति कैसा फील करता है, या जब वो इग्नोर होता है तो उसे कैसा लगता है। और ये भी नही आता..!

जो इग्नोर कर रहा है उसकी मनःस्थिति कैसी होती है उस समय जब वो किसी इंसान को इग्नोर करता है !

तो सोचा आज इसी पर कुछ लिखूं, जो समझ आया उतना लिखने की कोशिश करूं !

कभी सोचा है आपने उस व्यक्ति के बारे में जो इग्नोर हो रहा है या जिसे इग्नोर किया जा रहा है...?

जरूर सोचा होगा लेकिन जब भी इग्नोर हुए होंगे या जब इग्नोर किया होगा, उसी वक्त सोचा होगा वो भी खुद के बारे में..!

कहते है अगर कोई आपको नज़र अंदाज़ (इग्नोर) करें तो समझ लीजिए उसकी पूरी नजर आप पर ही है !

ठीक है समझ लिया पर ये नज़र रखने के चक्कर में जो दूसरे का हश्र होता है उसका क्या..!

इग्नोर हुआ व्यक्ति जो उस वक्त महसूस करता उसका क्या... अक्सर होता ऐसा है की जब भी कोई किसी को नज़र-अंदाज़ कर रहा होता है तो सामने वाले को पता ही नही होता आखिर हुआ क्या है..!

ये बेरुखी क्यों,

ये नाराजगी क्यों,

ये उदासी क्यों,

ये शांति क्यों,

वो भी मेरे साथ.. मैंने ऐसा भी क्या कर दिया जो ये इंसान मुझे बिल्कुल भूल गया

या भूल गई।

पर

पर

खुद को रोकता हूं मैं ये नहीं बोल रहा की जो इग्नोर हो रहा है वो सही है, और जो कर रहा वो गलत नहीं वो भी गलत है..!

क्योंकि मैंने ऊपर ये भी लिखा की जो कर रहा है, उसकी मनःस्थिति कैसी रही होगी जो उसने ऐसा किया,

अगर रिश्ता बराबर होता है तो तड़प भी बराबर होती है ना, कुछ तो हुआ ही होगा जो कोई इग्नोर हुआ और कोई किया गया।

पर मेरे लिखने का मतलब बस इतना है..!

इग्नोर करो ठीक है पर हो सके तो सामने वाले को चीजे पता होनी चाहिए, अगर रिश्ता है तो क्लेरिटी बहुत जरूरी है, अगर दोस्त मानते हो या कुछ भी मानते हो तो कुछ भी कहने में हिचक कैसी..?

अगर आपको कुछ किसी के बारे में नहीं पसंद तो आप साफ-साफ बोलो.. मुझे ये चीज आपकी नहीं पसंद, उसे कॉम्प्लिकेटेड क्यों बनाना है ये रिश्ता आपका है।

चलो मान लो लगाओ बढ़ा, दो लोग बहुत करीबी रिश्ता जीने लगे, तो इग्नोर करने लगोगे, क्या आपको पहले से उस इंसान का व्यक्तित्व नही पता था, क्या आपको नहीं पता था उसकी आदतों के बारे में..?

क्यों खुद को हर्ट करना और दूसरे को भी...,

कुछ लोग कहेंगे ठीक है इन सब चीजों का होना अच्छा है जरूरी भी है। मान लेते हैं इससे प्यार बढ़ता है, कोई कहेगा फर्क भी उसी से पड़ता जो बहुत करीब होता, इग्नोर भी उसे किया जाता जिसके होने न होने से फर्क पड़ता !

लेकिन मेरी मानो तो प्यार में कोई फ़ार्मूला नही लगता, रिश्ता चलाने के लिए हमे बस अंडरस्टैंडिंग की जरूरत होती है अगर एक रूठा है तो दूसरा माना ले, कभी एक गर्म है तो दूसरे को नर्म हो जाना चाहिए !

पता है हममें बस रिश्ता जीने की और बचाने की चाह होनी चाहिए, फिर ना कोई आपका रिश्ता तोड़ सकता न ही उसे हिला सकता है !

फर्क नही पड़ता,

फर्क नही पड़ता,

चलो दिखाते हैं दूसरे इंसान को हमें कोई फर्क नहीं पड़ता, उसको लगेगा इसको बहुत खुशी है !

लेकिन ऐसा करना क्यों हैं, क्यों दिखाना किसी को जिसे जाना होगा वो जायेगा उसे कोई रोक ही नही सकता

पर हां लोग उदास नही दिखते तो सामने वाले को लगता कहाँ वो उदास है कभी- कभी इसलिए भी चीजे होती क्योंकि सामने वाले को उसे उदास देखना है ! जरूरी है कि जब हम दिखाएं तभी सामने वाले को लगे हम दुखी हैं, खुद के लिए अपने साथ वालों को भी क्यों दुखी करना यार..!

हमारा दुख हमारी तकलीफ हमारे काटने से ही कटती है किसी दूसरे के काटने से नहीं, पर जब हमारी वजह से कोई हँसता है तो दुआएं जरूर मिलती हैं

ध्यान देने योग्य बात पता है कौन सी है..

प्यार और ज्ञान दो ऐसी चीज हैं जो बांटने से बढ़ती है, तो बांटो न प्यार बिना किसी स्वार्थ के आप देखना और लिख कर रख लो एक दिन इतना आयेगा रख नही पाओगे...!

पता है कपड़ा हो या घाव सिलने के लिए सुई काम आती तलवार नही इसलिए इग्नोर करने या होने की नौबत ही न आने दो !
~Ahmad
(Please share your thoughts
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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

19 Nov, 07:53


अमृत की बूँदे

केवल ही निज लाभ पर,करिए नहीं विचार।
देश-धर्म के कार्य हित , सदा रहें तैयार।।

विरह - वेदना दरिद्रता , वैभवता का रंग।
लाभ-हानि सुख और दुख,जीवन का है अंग।।

सदा भलाई देश की , विकसित रहे समाज।
जन-गण-मन सद्भावना ,आवश्यक है आज।।

आप भला तो जग भला , मधुर रहे व्यवहार।
दूर बुराई से रहो , उत्तम रखो विचार।।

भोगे दुख दासत्व का , परदेशी साम्राज्य।
प्राण गँवाए तब हुए , उदित देश का भाग्य।।

नग्न-पश्चिमी सभ्यता,जकड़ लिया फिर आज।
भारतीयता जा रही , संस्कृत सभ्य सुराज।।

iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

19 Nov, 05:29


ग़ज़ल शीर्षक: इनायतें है जितनी

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

मेरी ज़िंदगी में हिस्सेदारी है तेरी बस इतनी,
खुदा की रहमतों की इनायतें हैं जितनी।

तेरे ख़याल से दिल सजा है जितना,
नसीब में खुशियों की बरकतें हैं जितनी।

गुज़र रही है तुझ बिन उदास शामें,
चमकती चांदनी की हसरतें हैं जितनी।

तेरे क़रीब आने की आरज़ू में,
मोहब्बतों की बढ़ती हलचलें हैं जितनी।

सवाल अब तो बस एक दुआ का है,
क़ुबूल हो इबादतें और सजदें हैं जितनी।

ख़फ़ा न होना मेरी मोहब्बत से कभी,
मुझमें बाकी हैं वफ़ाएं और चाहतें हैं जितनी।

तेरा नाम लेकर जो अश्क बहाए मैंने,
वो दास्तां सुनाएंगी मुद्दतें हैं जितनी।

दुआ है तुझसे सदा जुड़े रहे ये दिल,
चमकें रिश्तों में उम्मीदें हैं जितनी।

" किट्टू" लिखेगी दास्तान-ए-इश्क़ यूं ही,
कि ख़त्म हों न हसरतें, मोहब्बतें हैं जितनी।

हां! मेरी जिंदगी में हिस्सेदारी है तेरी बस इतनी....

©️Kittu Write's....✍️
19/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

19 Nov, 05:21


"गुड मॉर्निंग! 🌞
जय श्री कृष्णा राधे राधे 😊 🙏
आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐

आज ज्ञान की बातें छोड़कर कुछ हंसी से शुरूआत करते हैं 😂

आप जानते हैं, एक आदमी ने सूरज से पूछा—
सूरज, तुम हर दिन सुबह-सुबह क्यों उगते हो?
सूरज हंसते हुए बोला—
'भैया, तुम्हारे जैसे आलसी लोगों के लिए, ताकि तुम देख सको कि दिन शुरू हो चुका है!' 😂

अब उठिए, सूरज की तरह जोश के साथ दिन की शुरुआत कीजिए!

हंसते रहिए मुस्कुराते हुए रहिए और खुशियां बांटते हैं 🤟

#गुडमार्निंग #मज़ेदार #खुशरहो"# गगन भाई #नटखट ब्रो 😁

Kittu Write's....✍️
19/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 10:36


ग़ज़ल शीर्षक: रहमतों का सजदा

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

ख़ुदा की रहमतें अब सजदे में उतर आईं,
तेरी दुआओं की लौ से रातें सँवर आईं।

तूने ज़मीं के सूरज को देखा लहूलुहान,
मेरे ख़्वाबों में फिर नई रौशनी भर आई।

तेरे सवाल में है वो दर्द का समंदर,
जो दिल को छू के जिंदा मुझमें असर लाए।

मेरे दिल की सुन ले, जो तेरा हर पल है,
तेरे ही नाम पर मेरी हर दुआ जाए।

फ़रिश्तों की ख़ताएँ हों या परिंदों की उड़ान,
तेरी नज़र जहाँ हो, वहीं रूह बस जाए।

तेरी वफ़ा में है मेरे हर सफ़र का मक़सद,
तेरे साथ ही अब मेरी हर ख़ुशी आए।

हां खुदा की रहमते अब सजदे में उतर आई है ......

©️Kittu Write's....✍️
18/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 08:09


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

लवों ने लफ़्ज़ों को इंकार किया है ,
जब से तुझसे सरोकार हुआ है ,,

कुछ अनकही सी बातें 🤟

Kittu Write's....✍️
18/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 07:55


ना जाने जिंदगी इतना क्यों भाग रही है ,
सुकून नहीं इसे और मुस्कुरा रही है ,,

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 05:32


रावन / किट्टू की कलम से ✍️

कविता शीर्षक: सुनो पथिक

चल लिया बहुत, ओ पथिक मेरे,
पर सफर अभी बाकी है।
हर मंज़िल पर एक और राह है,
तेरे हौसले की साखी है।

हर रातों को तूने सुबह किया,
हर सुबह को शाम बनाया।
पर कुछ ख्वाब अधूरे अब भी हैं,
जिन्हें पूरा करना है, ये मत भुलाया।

डाली फुलवारें बनाई तूने,
घर की दीवारें सजाईं।
अब बंजर दिलों में प्यार उगाना,
ये जिम्मेदारी उठानी बाकी है।

खज़ाने भर लिए अनगिनत,
सपनों को भी हासिल कर लिया।
पर रिश्तों की वो डोरी,
अब भी कसकर बांधनी बाकी है।

चल लिया बहुत, ओ पथिक मेरे,
पर ठहरने से मंज़िल न रूठेगी।
आराम कर ले, ये भी जरूरी है,
पर याद रहे, जीवन की दौड़ न छूटेगी।

हर कदम जो तूने उठाया है,
वो किसी और को राह दिखाएगा।
तेरे सफर की कहानी, पथिक,
एक नई दिशा बनाएगा।

इसलिए थकना भी जरूरी है,
पर रुकना मंज़ूर नहीं।
आराम से फिर नई उड़ान भर,
क्योंकि आसमान की कोई हद नहीं।

Brother and sister collaboration 🤟

Rawan / kittu Write's.....✍️
18/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 05:09


सुप्रभात आप सभी को 🙏
जय श्री कृष्णा राधे राधे 😊 🙏

आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐

हर सुबह एक नई कहानी लिखने का मौका है।
जो लोग अपने सपनों के पीछे चलते हैं, उनकी मंज़िलें खुद उनका इंतज़ार करती हैं।
आज का दिन आपका है, इसे अपनी मेहनत और हौसले से खास बनाइए।

"रास्ते खुद बनते हैं, जब हौसला बुलंद होता है।"

अपनी सोच को ऊँचा रखो, मुश्किलें चाहे जितनी भी हों, जीत तुम्हारी ही होगी।
खुद पर विश्वास करो और हर चुनौती को एक नए अवसर की तरह देखो।

आज का दिन आपकी सफलता के लिए एक कदम और बढ़ाएगा।

हंसते रहिए मुस्कुराते हुए रहिए और खुशियां बांटते रहिए 😊

राधे राधे 🙏

Kittu Write's....✍️
18/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

18 Nov, 04:46


चल लिया बहुत अब पथिक तू,
अब थोड़ी देर आराम तो कर..

चल लिया बहुत अब पथिक तू,
अब थोड़ी देर आराम तो कर..

हर रातों की तूने सुबह की,
और हर सुबह की शाम हुई..

अब इन शामो में,
कुछ अपने नाम तो कर..

चल लिया बहुत अब पथिक तू,
अब थोड़ी देर आराम तो कर..

डाली फुलवारें बनाई,
घर की दीवारें बनाई..

चोखट बाग खलियान बनाया,
घर इतना आलीशान बनाया..

अब कुछ और परिश्रम की,
चाबी अपने नाम तो कर..

चल लिया बहुत अब पथिक तू,
अब थोड़ी देर आराम तो कर..

भरता गया ख़ज़ाना,
बनता गया आशियाना..

धीरे धीरे अपनो का,
संग छूटा आना जाना..

अब कुछ और रिश्तों की,
पोटली अपने नाम तो कर..

चल लिया बहुत अब पथिक तू,
अब थोड़ी देर आराम तो कर..


_रावण जी

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 16:33


मेरे सारे भाइयों अब टेंशन नहीं ये लो गिफ्ट 😌नहा लेना सारे सर्दी का बहाना नहीं करना कोई भी 🥺
सारे पैसे खर्च हो गए आज मेरे 🥺
इस तोहफे को संभाल कर रखना 😌

Kittu Write's....😎
17/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 13:53


जनाजा मेरा उठ रहा था
फिर भी तकलीफ थी उसे आने में,

बेवफा घर में बैठी पूछ रही थी
और कितनी देर है दफनाने में..
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 12:06


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

गुज़र जाएगी एक और शाम कुछ इस तरह ,
ज़मीं मिली हो आसमां से जिस तरह ,,

कभी कभी बस यूं ही 😊

Kittu Write's....✍️
17/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 10:25


कविता शीर्षक: बेखबर जमाना

किट्टू की कलम से ✍️

शोर इतना बढ़ चुका है,
अब मुझे आवाज नहीं आती।

क्या दौर है ग़ालिब,
किसी की हस्ती समझ नहीं आती।

गहमागहमी है हर तरफ,
खुद की सूरत भी अब नजर नहीं आती।

हर शख्स है यहां बेखबर,
और नज़रों में नर्मी नहीं मिल पाती।

किसी को फुर्सत नहीं है पूछने की,
कि धड़कनें अब सुकून क्यों नहीं पाती।

हर कदम पर है एक नया तमाशा,
पर हकीकत कहीं नजर नहीं आती।

चहरे पे मुस्कानें सजाए बैठे हैं सब,
पर आँखों में गहराई नजर नहीं आती।

सवाल तो हजारों हैं दिल में छुपे हुए,
मगर कोई जवाब ढूंढने की हिम्मत नहीं दिखाती।

यहाँ रिश्ते भी जैसे सौदे बन चुके हैं,
अब वफाओं में वो पुरानी मिठास नहीं आती।

सन्नाटे में डूबी हुई ये भीड़ कहती है,
कि जिंदगी अब जिंदगी से क्यों नहीं मिलवाती।

आसमान में परिंदे भी गुमसुम हैं,
जैसे उड़ने की वजह भी उन्हें नहीं मिल पाती ।

हां! सच में शोर बढ़ चुका है .....

©️ Kittu Write's.... ✍️
17/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 09:59


नाराजगी चाहे कितनी भी क्यो न हो तुमसे,

तुम्हें छोड़ देने का ख्याल हम आज भी नही रखते.
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 07:32


तुझे जमीं कहूं या आसमां कहूं ,
मेरी मोहब्बत के बादशाह क्या तुझे जिंदगी का अरमां कहूं ,,

ढलते हुए सूरज की ठंडक कहूं ,
या रात का वो मधुर चांद कहूं ,,

हो कुछ ऐसा करिश्मा,
ए दिल तुझे बस अपना गुनहगार कहूं ,,

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 04:33


ना एहसास बयां कर पाएं,
ना उसकी बातें समझ पाए ,,

नादान रहा ए दिल तू ,
बिछड़ कर दिल की बात बस समझ पाए ,,

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❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 02:54


दिल क्यों है बेक़रार मुझे कुछ पता नहीं।
शायद यही है प्यार मुझे कुछ पता नहीं।

हर पेड़ है उदास सा पतझड़ के दौर में।
आएगी कब बहार मुझे कुछ पता नहीं।

ये इश्क का है रोग जो बढ़ता है रात दिन।
कब आएगा सुधार मुझे कुछ पता नहीं।

भरपूर सुख की आस सँजोकर के लाया था।।
दुख क्यों मिले हज़ार मुझे कुछ पता नहीं।

उजला समझ के जिसको दिया मान खूब ही।
निकला वो दागदार रावण को कुछ पता नहीं।

काटे थे जाल जिसने शिकारी के सब बिछे।
उसका हुआ शिकार मुझे कुछ पता नहीं।

उम्मीद जिनसे सख की सभी को ही थी अधिक।
उन में है दुख शुमार मुझे कुछ पता नहीं।

काँटो के साथ रह के रावण जो खिले हैं गुल।
उन में भी है निखार मुझे कुछ पता नहीं।

_रावण जी

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 02:51


ग़ज़ल: ख़ामोश रातों के ख़्वाब

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

कुछ रात यूं कटी आंखों में,
जैसे चांद छुपा हो बादलों में।

दिल को हर इक ख्वाब से जोड़ा,
पर सुबह मिली बस सवालों में।

तेरे ख्याल हर सहर से मिले,
फिर भी उलझे रहे मलालों में।

जागे रहे हैं हर इक ख्वाब लिए,
जो सोया, डूबा ख़यालों में।

तेरे बिना ये जहां सुना लगे,
बस दर्द पले हैं उजालों में।

कभी लगा तेरा साया पास था,
कभी खोए रहे शोर में मलालों में ।

वो भीगती रातें याद आ गईं,
जब छिपे थे हम बादलों में।

ख़ामोश लफ़्ज़ों में जो कह ना सके,
वो कहानी छुपी थी हवालों में।

©️Kittu Write's.....✍️
17/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 02:37


सुप्रभात आप सभी को 🙏
जय श्री कृष्णा राधे राधे 😊 🙏

आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐

"यह नया दिन आपके जीवन में नये अवसर लेकर आया है। चुनौतियाँ तो आएंगी, लेकिन याद रखिए, हर मुश्किल को पार करने की ताकत आपके अंदर है। आज का दिन आपकी मेहनत, संकल्प और सकारात्मक सोच से भरा हो। कभी हार मत मानिए, क्योंकि जो आप चाहते हैं, वह आपके एक कदम की दूरी पर है। अपना आज अच्छा बनाइए, ताकि आपका कल और भी बेहतरीन हो। "

आप सभी का दिन मंगलमय हो 🤘
हंसते रहिए मुस्कुराते हुए रहिए और खुशियां बांटते रहिए 😊

राधे राधे 😊 🙏

Kittu Write's....✍️
17/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

17 Nov, 02:24


उसकी आंखों में ढल देखा,वही अंगार लिए बैठा।
साहिल नजर न आया कहीं मैं, पतवार लिए बैठा।

भले मुझसे जुदा हो गई वो ,इस जन्म के लिए,
उससे बिछड कर भी मैं ,उसका प्यार लिए बैठा।
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

16 Nov, 09:55


किट्टू की कलम से ✍️

ग़ज़ल ( शीर्षक )-शिकायत करूं कैसे ,,

मशरूफ है वो बहौत, क्या शिकायत करूं,
दिल में छिपी हैं बातें, पर बयाँ करूं कैसे।

हवाओं में घुला है उसका नाम इस कदर,
फिर भी न आई आहट, क्या सियासत करूं।

रिश्तों की धुंध में कुछ नज़र नहीं आता,
हर तरफ़ वही है, अब बगावत कैसे करूं ।

छुपा रखा है दिल में एक दर्द का सैलाब,
उसके आगे अब कोई हकीकत बयां कैसे करूं।

दिल की सूनी राहों में आहट न उसकी,
अब इन ख़यालों की हिफ़ाज़त कैसे करूं।

वो मशरूफ सा रहा हर ख्वाब की ज़मीन पर,
नज़रें चुराकर अब कोई हसरत पूरी कैसे करूं।

आँखों में छिपा रखा है यादों का इक समुंदर,
उस बेदर्द लहर से अब शिकायत कैसे करूं।

चुप्पियों ने घेरा है उसे चारों ओर,
खामोशियों से फिर मोहब्बत कैसे करूं।

वो हर जगह है फिर भी नज़र से ओझल है,
अब उसकी नज़रों की जमानत कैसे करूं।

हां! शिकायत कैसे करूं .....

©️ Kittu Write's....✍️
16/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

16 Nov, 06:09


अपना दामन मैं छुड़ाऊँ तो ग़ज़ल कह देना
और गर तुझ को भुलाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

दिल में रख हौसला आँखों में वफ़ा और इस पर
साथ तेरा न निभाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

तूने पाज़ेब सजाई जो मिरे पैरों में
उस की आवाज़ सुनाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

ज़िन्दगी याद ख़यालों में अभी बाकी तू
जब तुझे दिल से मिटाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

तू अगर रूठ भी जाए ये ज़माने भर से
देख मैं तुझको मनाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

ये ज़माने ने मुझे यार सताया कितना
दर्द सारे ये सुनाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

अब भला कौन मेरे ज़ख्म पे मरहम रखता
मैं अगर ज़ख़्म छुपाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

फूल शबनम ये कली चांद सितारों के संग
नींद तेरी भी उड़ाऊँ तो ग़ज़ल कह देना

आशुतोष गुप्ता..............

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 14:25


बचपन का वो प्यार भी निराला
लड़ते झगड़ते प्यार कर डाला
न पता था मंज़िल का
न पता था तक़दीर का
बिन बोले इज़हार कर डाला
बचपन का वो प्यार भी निराला

कभी रूठना था तो कभी मनाना
उसका मेरे घर मेरा उसके घर
रोज़ होता था आना जाना
साथ पढ़ना साथ खेलना
यह तो था एक बहाना
हमें तो साथ हर लम्हे था बिताना
बचपन का वो प्यार भी निराला

मेरी हर चीज़ मे हिस्सा बटाना
अपनी चीज़ को हमसे छुपाना
हमने तो एेसे ही बचपन बिताया
प्यार क्या होता हे समझ न आया
जवानी ने आज प्यार क्या समझाया
मुझे आज फिर बचपना याद आया
बचपन का वो प्यार भी निराला

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 14:22


जो मुझे छोड़ गए पल वो बुला कर देखूँ
फासले उम्र के यों आज मिटा कर देखूँ

मेरी बातों पे भरोसा वो कहाँ करता है
आज फिर सच को निगाहों से छुपा कर देखूँ

ज़िंदगी रोज़ नये रंग में दिखती है मुझे
शुक्रिया कह के ज़रा सिर को झुका कर देखूँ

वो जो हर बार मुझे दर्द में देता है शिफा
उसके क़दमों में दिलो जान लुटा कर देखूंँ

छोड़ कर दूर चले जाते हैं माँ बापों को
इस हक़ीक़त से कभी आँख मिला कर देखूँ

पीठ पर आज जो हँसते हैं मेरी छुप-छुप कर
कितने अहसान किए मैंने जता कर देखूँ

मेरी फितरत में नहीं ख़ुद के कसीदे पढ़ना
मैं ज़मीं पर हूँ ज़मीं से ही निभा कर देखूँ

आशुतोष गुप्ता..........

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 14:07


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

कभी न करना रूखसती कि बिखर जाएंगे अल्फाज़ मेरे,
कहने को वो बस एक ग़ज़ल है ।सुनो ना, एहसास है उसमें सब तेरे,,

कभी कभी बस यूं ही 😊

Kittu Write's....✍️
8/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 12:40


तुम्हारे नाम की खुशबू

तुम्हारे नाम की ख़ुशबू से महकता है नाम मेरा,
तेरी चाहत में ख़ुद को खोना यही है काम मेरा !

तुम्हें पाकर जीवन की हर ख़ुशी मिल गई मुझे,
तू काशी तू ही अयोध्या तू ही है चारों धाम मेरा !

तेरे प्यार से रोशन और आबाद है मेरी ये दुनिया,
तुझ संग महकती हूँ चहकती हूँ तू है जाम मेरा !

तुझ संग ज़िन्दगी में राहतें है मिली है स्थिरता,
तुम हो जीवन में मीठास भरता फल आम मेरा !

तुम हो तो मैं हूँ तुम बिन मैं कुछ नहीं ‘अहमद
वार दिया सबकुछ तुझ पर मैं सिया तू राम मेरा !
~Ahmad

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 05:38


सुप्रभात आप सभी को 🙏

जय श्री कृष्णा राधे राधे 😊

आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐

"हर सुबह एक नया अवसर है, अपनी मेहनत और इरादों से दिन को संवारने का।
उम्मीदों के साथ आगे बढ़ें, क्योंकि जो मेहनत करता है, वही अपनी तकदीर बदलता है।"

आप सभी का दिन मंगलमय हो 🤘

हंसते रहिए मुस्कुराते हुए रहिए और खुशियां बांटते रहिए 😊

Kittu Write's.....✍️
8/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

08 Nov, 05:13


कुछ वक्त शांत होकर गुजार लो,

शोर करने का भी वक्त आएगा..
iShQ

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

07 Nov, 14:46


मैं तो कहता हूँ कोई जाये न बिलकुल उस तरफ़
मुनहदिम होने को है इख़लास का पुल उस तरफ़

उस तरफ़ से जो भी आता है वो कहता है यही
है न कोई क़ाइल-ए-सब्र-ओ-तहम्मुल उस तरफ़

उस तरफ़ से इस तरफ़ आए ज़माना हो गया
फिर भी ले जाता है यादों का तसलसुल उस तरफ़

अपनी मिट्टी से ही रिश्ता टूट जाएगा मेरा
मैं किसी हालत में जाऊँगी न बाबुल उस तरफ़

क़ैद कर के ले गया सय्याद जिस दिन से उसे
गुल इधर ग़मगीन है रोती है बुलबुल उस तरफ़

नस्र हमसायों का हुस्न-ओ-इश्क़ से लबरेज़ है
या कि ग़ज़लों में भी होता है तग़ज़्ज़ुल उस तरफ़

बाग़-ए-दिल की आबयारी इस तरह कीजे कि शाद
गुल यहां महके तो पहुंचे निकहत-ए-गुल उस तरफ़

शमशाद शाद..........

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

07 Nov, 11:59


मुक्कमल वो कर गया बस एक मुलाकात में....
ख्वाब सा था पता चला रात गुजरने के बाद में ....

प्लीज़ ज्वाइन अस 🤞

https://t.me/lafze_ruh

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

07 Nov, 04:59


खामोशियां बयां कर रही है दिल की आरज़ू....
तू रहगुजर रहे मेरा यही है आख़िरी जुस्तजू....

✍️ रूद्रा

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

06 Nov, 15:58


कविता: ख़ुद से मुलाकात"

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो ज़रा ठहरो,
मैं कैद हूं कहने को, फिर भी आज़ाद हूं,
गुमशुदा हूं, पर तुझमें ही आबाद हूं।

आसमान से परिंदे की तरह अंजान हूं,
फंसा हूं किसी जाल में, पर उड़ने को आजाद हूं।

चलते हुए भी मंजिल से दूर हूं,
फिर भी ख्वाबों में उन तक पहुंचने को तैयार हूं।

तन्हाई में तेरी यादों का एक एहसास हूं,
संग जी रहा खुद के ,पर फिर भी अकेला और उदास हूं।

सपने हैं कई, फिर भी असलियत में परेशान हूं,
हर पल में खो जाता हूं, पर फिर भी उम्मीदों का अंबार हूं।

तू पास है फिर भी तुझसे दूर और बेजार हूं,
तेरे ख्यालों में खोकर जी रहा हूं,पर तेरा एक सुखद एहसास हूं।

कभी खुशी की राहों पर चलता हूं,उन छालों से अंजान हूं,
कभी दर्द के समंदर में, डूबकर जी रहा हूं पर किनारे की तरफ अग्रसर हर बार हूं ।

वक्त की रेत पर लिखा है खुद को,नाम तेरे लफ्ज़ हर बार हूं ,
फिर भी मिटाने को तैयार हूं, पर फिर से संजीवित और साकार हूं।

हर सवाल का जवाब ढूंढता हूं, फिर भी एक सवाल हूं ,
ढूंढता हूं हर पल खुद को ,पर फिर भी तेरे हर सवाल का जवाब हूं ‌।

हां।मैं कैद हूं तेरे अक्स में ,पर तेरी मोहब्बत से अंजान हूं,,

©️ Kittu Write's....✍️
6/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

06 Nov, 05:37


तुम्हारी हँसी में छुपी है मेरे सुकून की कहानी....
तुम्हारे बिना ये दुनिया लगती है सुनी और वीरानी....
हर लम्हा तुम्हारे साथ बिताने का अरमान है....
तुमसे ही तो मेरा हर ख्वाब और हर जहाँ है....

✍️✍️ रूद्रा

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

05 Nov, 12:32


तसव्वुर में बिता कर एक शाम....
चल दिया वो मगरूर कुछ इस तरह....
टाट का पैबंद समझ कर....
दरकिनार कर दिया जिस तरह....

✍️ ✍️....रूद्रा

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

05 Nov, 05:08


सुप्रभात आप सभी को 😊🙏
जय श्री कृष्णा राधे राधे 🙏

आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐 💐

हर सुबह एक नई शुरुआत का संकेत है,
हर किरण नई उम्मीद का पैगाम लाती है।
जो कल बीत गया उसे भूल जाइए,
आज का दिन एक नई कहानी बनाने का मौका है।

आपका दिन शुभ और सुखद हो!

राधे राधे 😊

Kittu Write's....✍️
5/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

04 Nov, 04:24


ग़ज़ल शीर्षक: आईना ए हकीकत

किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

मैं एक ग़ज़ल हूँ या कविता या एक कहानी,
बीत गया एक वक्त, समझ कहा आनी।

अनगिनत अहसासों को समेटे चलती हूँ,
फिर भी किसी की डायरी में नहीं सिमटती हूँ।

हर पन्ने पे मेरे अल्फ़ाज़ बिखरे पड़े हैं,
फिर भी किसी की किताब में नहीं बंधती हूँ।

महफ़िलों में कहीं मेरी बातें होती हैं,
पर किसी महबूब के दिल में नहीं बसती हूँ।

मैं खुशियों में भी शामिल होती हूँ अक्सर,
फिर भी किसी की हंसी में नहीं घुलती हूँ।

कभी ख़्वाब बनके पलकों पे सज जाती हूँ,
फिर भी किसी की हकीकत में नहीं ढलती हूँ।

जिनसे दिल के रिश्ते जोड़े हैं मैंने,
उनकी ज़ुबां पर कभी नाम नहीं बनती हूँ।

हर शेर में अपनी रूह बसाकर जीती हूँ,
फिर भी किसी की धड़कन में नहीं धड़कती हूँ।

मैं खुद को हर एक चेहरे में ढूँढती हूँ,
फिर भी किसी आईने में नहीं दिखती हूँ।

सुनो ना ! क्यों मैं एक मुकम्मल ग़ज़ल किसी की नहीं बनती हूं....

©️kittu Write's.... ✍️
4/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

03 Nov, 16:09


किट्टू की कलम से ✍️

सुनो कुछ कहूं??

आज फिर तेरी गलियों से गुजर कर आई हूं ,
सुनो, ज़रा खुश्बू सी आ रही है मेरे अक्स से ,

Kittu Write's....✍️
3/11/2024

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

03 Nov, 15:56


Channel name was changed to «❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️»

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

03 Nov, 05:08


ना जाने क्या कमी है मुझमें, ना जाने क्या खूबी है उसमें,,

वो मुझे याद नहीं करती, मैं उसको भूल नहीं पाता" -

❤️ कुछ अनकहे से अल्फाज़ ❤️

03 Nov, 04:13


सुप्रभात आप सभी को 🙏
जय श्री कृष्णा राधे राधे 😊 🙏

आज जिन लोगों के भी जन्मदिन है सभी को हार्दिक शुभकामनाएं ❤️

मेरे अनमोल रत्नों 😍
कान्हा जी मेरे भाइयों की सारी मनोकामनाएं पूर्ण करें 🙌 🙌

"भाई-बहन का रिश्ता, जिसमें प्यार, मस्ती और अपनापन शामिल है। भाई दूज के इस खास मौके पर, बहनों की दुआएं भाइयों की जिंदगी को खुशियों से भर दें और भाइयों का साथ बहनों को हमेशा सुरक्षा का एहसास कराए।

भाई दूज की ढेरों शुभकामनाएं!

#BhaiDooj #BhaiBehanKaRishta #HappyBhaiDooj #SiblingLove #BhaiDooj2024"

Kittu Write's.....✍️
3/11/2024