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Dear All,
Please correct the spelling of my name in your records;
The correct spelling is SCHİVCHANDRA
Thanking you in anticipation!

SCHİVCHANDRA@snbhi376 (English)

Are you a fan of spiritual content and looking for a channel that provides insightful teachings and guidance? Look no further than SCHİVCHANDRA@snbhi376! This Telegram channel, under the username @pramashwardham, is dedicated to sharing the wisdom of SCHİVCHANDRA.

SCHİVCHANDRA is a renowned spiritual teacher known for his profound teachings on finding inner peace and spiritual enlightenment. His messages resonate with those seeking spiritual growth and a deeper understanding of themselves and the world around them.

By joining SCHİVCHANDRA@snbhi376, you will have access to daily inspiration, motivational quotes, and teachings that will help you on your spiritual journey. Whether you are new to spirituality or a seasoned practitioner, this channel offers something for everyone.

If you are looking to correct the spelling of SCHİVCHANDRA's name in your records, this channel is the perfect place to do so. Simply join and immerse yourself in the teachings of SCHİVCHANDRA while connecting with like-minded individuals who are also on a spiritual path.

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SCHİVCHANDRA@snbhi376

16 Feb, 15:14


दुनिया में ख्याल रखने वाले लोग, कम ही मिलते हैं
तकलीफ़ देने वाले लोग ज़्यादा ही मिलते हैं

SCHİVCHANDRA@snbhi376

12 Feb, 13:20


जो लोग खुद को बेबाक और साफ़गोई का पक्षधर बताते हैं, वे बिना लाग-लपेट के हर किसी को खरी-खरी सुनाने में झिझकते नहीं। वे दूसरों की गलतियाँ गिनाने में माहिर होते हैं और इसे सत्य व ईमानदारी का नाम देते हैं। मगर जब वही स्पष्टता उनके अपने ख़िलाफ़ आती है, तो वे उसे असहनीय मान लेते हैं।

दूसरों को तीखी बातें सुनाने वाले, जब स्वयं आलोचना के दायरे में आते हैं, तो उनकी सहनशीलता जवाब दे जाती है। जिस कड़वाहट को वे दूसरों के लिए आवश्यक मानते हैं, वही कड़वाहट जब उनके हिस्से आती है, तो वे क्रोधित हो जाते हैं, तर्क-वितर्क करने लगते हैं या उसे अपमान समझ बैठते हैं।

सच्ची साफ़गोई का अर्थ केवल दूसरों को कटु सत्य सुनाना नहीं, बल्कि अपने प्रति आने वाले सत्य को भी बिना पूर्वाग्रह के स्वीकार करना है। यदि हम दूसरों को आईना दिखाने का साहस रखते हैं, तो हमें स्वयं को भी उसी आईने में देखने के लिए तैयार रहना चाहिए। अन्यथा, यह साफ़गोई नहीं, बल्कि महज़ अहंकार बन जाता है, जो दूसरों को नीचा दिखाने की आदत में बदल जाता है।

— यूनिविचार

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10 Feb, 06:50


https://www.instagram.com/reel/DF4f9AySRCa/?igsh=MXNrcWNtYm1ncDE1bw==

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07 Feb, 07:28


https://www.instagram.com/reel/DFw0kTeSb12/?igsh=cjk3NzRkYW1uMzN5

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14 Jan, 16:40


https://youtu.be/PKtkAKujAuE?si=1xmlgEQLIm2bLxAJ

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12 Jan, 01:40


https://www.instagram.com/reel/DEtRYiIy_UC/?igsh=Z214YWw5eGlsdTZv

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10 Jan, 11:17


साईं संदेश
“अच्छा व्यवहार और मजबूत किरदार आपकी पहचान को संवारते हुए सफलता के द्वार खोलते हैं। इन्हीं गुणों से जीवन में सच्ची कामयाबी हासिल होती है।”इसी से खुशियों के द्वार खुलते हैं

SCHİVCHANDRA@snbhi376

07 Jan, 05:10


आज गुरु साहिब द्वारा कहे हुए शब्द
“मैं चाहता हूँ”
•बच्चों को ऐसे संस्कार दिए जाएँ जिससे उनकी सोच साफ हो और वे अच्छे व्यवहार की आदत डालें
•बच्चे किसी के बारे में गंदी बातें न सोचें,न कहें,हमेशा अच्छा पढ़ें,अच्छा सोचें और ऐसा बोलें जिससे दूसरों को प्रेरणा और खुशी मिले।बच्चे अपना रहन-सहन साफ-सुथरा और व्यवहार सरल रखें।ऐसी आदतों से बच्चों का व्यक्तित्व निखरेगा जिससे उन्हें लोगों का प्यार और सम्मान मिलेगा।अपने आसपास के लोगों और गुरु भाइयों से परिवार की तरह व्यवहार करें।मिलजुल कर रहें और जरूरतमंदों की मदद के लिए हमेशा तैयार रहें।अपने समाज में पीछे रह गए लोगों की जिंदगी बेहतर बनाने की कोशिश करें।
अपने संस्कार ऐसे बनाएं जो दूसरों के लिए प्रेरणा का काम करें।अच्छे आदर्श अपनाने से जीवन और समाज दोनों सुधरेंगे,जिससे साईं धाम से जुड़े लोगों की शान बढ़ेगी।सभी को बराबरी का दर्जा दें कोई बड़ा कोई छोटा नहीं सब सरकार की बगीची के फुल हैं कोई मुरझाए नहीं ऐसा प्रयास रहना चाहिए।लड़कालड़की में कोई भेदभाव न रहे सब सम्मानित और सुरक्षित महसूस करें। सभी गुरु भाई गुरुसाहिब के बताए मार्ग पर चलने की कोशिश करें और उनकी इच्छाओं को पूरा करने का संकल्प लें। ऐसा करने से न केवल आपका बल्कि पूरे समाज का विकास होगा। कुल मिलकर संदेश निकलता है की गुरु साहिब की यह शिक्षा हमें अपने जीवन को सुंदर और समाज को बेहतर बनाने की दिशा में प्रेरित करती है। अगर हम इन बातों को अपनाएंगे, तो हर व्यक्ति और समाज में सकारात्मक बदलाव आएगा और हमें ख़ुशी और आन्दित होने का मौक़ा मिलेगा

SCHİVCHANDRA@snbhi376

04 Jan, 14:00


https://www.instagram.com/reel/DEZ_CcmyUVs/?igsh=MTF5eGhycmw2aTNrNw==

SCHİVCHANDRA@snbhi376

03 Jan, 11:15


https://www.instagram.com/reel/DEXHmCnykWx/?igsh=MjhybWlpYWlkdHJ6

SCHİVCHANDRA@snbhi376

02 Jan, 15:17


https://www.instagram.com/reel/DEU-sXtSQ-m/?igsh=MXI4c3JrZjJsbHN5Mw==

SCHİVCHANDRA@snbhi376

02 Jan, 11:21


गुरु-शिष्य संबंध पर schiv के विचार गहरे भावनात्मक हैं इसके पीछे एक संदेश है इसे पढ़ने समझने से प्रेम जागृत होगा ऐसा मुझे विश्वास है।

शिष्य सदा गुरु के सानिध्य की आकांक्षा करता है,परंतु यह ध्यान देना आवश्यक है कि गुरु भी अपने शिष्य से प्रेम,श्रद्धा और विश्वास की अपेक्षा रखते हैं।
गुरु का सानिध्य प्राप्त करना एक अनमोल अवसर है लेकिन अक्सर शिष्य इस प्रेम और मार्गदर्शन के महत्व को पूरी तरह समझ नहीं पाते। वे अनजाने में ही सांसारिक कार्यों में उलझकर गुरु के प्रति अपनी समर्पण भावना को भूलने लगते हैं ऐसे में शिष्य को आत्ममंथन करना चाहिए यह समझना चाहिए कि गुरु का प्रेम और सानिध्य एक ऐसी दौलत है जो हर शिष्य को नहीं मिलता इसे संजोने की आवश्यकता है। समय का सदुपयोग करना अनिवार्य है क्योंकि एक बार खोया हुआ समय फिर लौटकर नहीं आता।

गुरु-शिष्य संबंध में प्रेम, विश्वास और समय का योगदान अत्यंत महत्वपूर्ण है इन मूल्यों के बिना यह संबंध अधूरा रह जाता है।

शिष्य को चाहिए कि वह अपने जीवन में गुरु की शिक्षा और मार्गदर्शन को सर्वोच्च प्राथमिकता दे ताकि वह अपने आध्यात्मिक और दुनियावी ख्वाहिशों को पा सके कुल मिलाकर
संदेश यह है कि
गुरु का प्रेम और सानिध्य एक वरदान है। इसे पहचानें, अपनाएं और इसका सम्मान करें।

SCHİVCHANDRA@snbhi376

01 Jan, 17:11


https://www.instagram.com/reel/DEQMIzuyBio/?igsh=NzJqcXkweWVpenkx

नया साल लाइव हाजरी

SCHİVCHANDRA@snbhi376

24 Dec, 11:13


(बचना चाहिए)
ज्ञान का सही उपयोग तभी संभव है जब वह पूर्ण और प्रामाणिक हो।
आधे-अधूरे सत्य की अपेक्षा चुप रहना बेहतर है।
सत्य और ज्ञान का प्रचार केवल तब करें, जब वह पूरी तरह से सत्यापित हो और समाज के कल्याण के लिए उपयोगी हो।
इससे समाज में विश्वास, शांति और प्रगति की नींव मजबूत होती है।

“अधूरा ज्ञान अंधकार का स्रोत है और पूरा ज्ञान प्रकाश का मार्गदर्शन करता है।
schiv

SCHİVCHANDRA@snbhi376

22 Dec, 02:36


23 December 2024 शहंशाह की याद को समझने की कोशिश :-

*हजूरसाहिब के द्वारा दिए गए संदेश केवल शब्द नहीं बल्कि एक दिव्य शिक्षा और मार्गदर्शन होते हैं।

*यह संदेश आत्मा को जागृत करने और जीवन को सही दिशा में ले जाने के लिए प्रेरित करते हैं।

*गुरुसाहिब का हर वचन सत्य और जीवन की उच्चतम सच्चाई को प्रकट करता है।

*गुरु गोदड़ साहिब का नूर
शाहसाहिब के रूप में आज हमारे समक्ष प्रकट है इनके भीतर साईं ज्योत विद्यमान है और उनका सत्य निरंतर हमारे सामने उजागर हो रहा है।यह एक ऐसा दिव्य अनुभव है जो हमें अपनी आत्मा और ईश्वर,साईं गोदड से जोड़ता है।

*शाहसाहिब के दर्शन करना और उनके संदेश को मान लेना ही हमारे लिए आध्यात्मिक उपलब्धि का मार्ग है।

*गुरु शाह साहिब वर्तमान में हमें कोई निर्देश,संदेश या शिक्षा दे रहे हैं तो वह हमारे वर्तमान जीवन की चुनौतियों व्यवधानों परेशानियों और हमारी आत्मिक उन्नति के लिए अत्यंत प्रासंगिक है।

*गुरु साहिब संदेश व्यवहार में लाना हमारी श्रद्धा और समर्पण की परीक्षा है।

*अवज्ञा का प्रभाव तब नज़र आता है जब हम गुरुसाहिब के बताए मार्ग का अनुसरण नहीं करते या उनके संदेशों को अनदेखा करते हैं तो यह एक प्रकार से उनकी अवज्ञा है। यह अनजाने में ही सही,लेकिन ऐसा आचरण हमारे आत्मिक विकास और सुख शांति प्रगति में बाधा उत्पन्न करता है।

*हमारे लिए चिंतन के प्रश्न हैं जिनका उत्तर हमें ख़ुद ही ढूँढना है।

• क्या हम शाहसाहिब के प्रत्येक वचन को आत्मसात कर पा रहे हैं?

• क्या हमारी दिनचर्या उनके उपदेशों के अनुरूप है?

• क्या हमारे विचार,कर्म और शब्द उनके संदेश का सम्मान करते हैं?

*गुरु साईं गोदड़शाह के संदेश अमूल्य थे,वर्तमान में वर्तमान गुरुसाहिब का संदेश भी अमूल्य है वर्तमान संदेश का पालन न करना आत्मविकास की प्रक्रिया में अवरोध उत्पन्न करने के साथ साथ हमारी अस्था श्रद्धा विश्वास को भी पनपने नहीं देता।

*यह हम पर निर्भर करता है कि हम गुरु साहिब की शिक्षाओं को न केवल समझें,बल्कि उन्हें अपने जीवन का अभिन्न हिस्सा बनाएं।

*निष्कर्ष: निकलता है आज के समय में गुरु शाहसाहिब के शब्द न केवल हमें गहन चिंतन के लिए प्रेरित करते हैं, बल्कि आत्मनिरीक्षण और आत्म-विकास का मार्ग भी प्रशस्त करते हैं। गुरुसाहिब के वचनों को गहराई से समझकर,अपने जीवन में उतारने का प्रयास करना ही गुरु गोदड़शाह की सच्ची सेवा और उनके प्रति सच्ची श्रद्धा होगी ऐसा शिव का मानना है ।

SCHİVCHANDRA@snbhi376

08 Dec, 03:25


https://www.instagram.com/snbhi376_/live/18040185086194429

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26 Nov, 16:46


https://www.instagram.com/reel/DC1umauypeb/?igsh=MXVmZHI2MGtwbHA4eA==

SCHİVCHANDRA@snbhi376

20 Nov, 11:03


आध्यात्मिक शांति के साथ
जिंदगी बने आसान
schiv

आध्यात्म में जितना अधिक इंसान वस्तुओं, रिश्तों और चाहतों से दूर होता जाता है, उतना ही वह अध्यात्म की गहराई का आनंद लेना शुरू कर देता है। यह दूरी किसी विरक्ति की नहीं, बल्कि आंतरिक शांति और आत्मिक सुख की ओर एक कदम होती है।

अध्यात्म हमें उस आनंद तक ले जाता है जहाँ हर ओर बस ख़ुशी ही ख़ुशी महसूस होती है। मन शांत हो जाता है और एक नई ऊर्जा का संचार होता है। जब हम परमात्मा और प्रकृति से जुड़ते हैं, तो यह जुड़ाव हमारे भीतर सकारात्मकता का संचार करता है और जीवन को नई दिशा में सँवार देता है।

“अध्यात्म की राह पर चलें, भीतर की शांति और बाहरी सौंदर्य का संगम पाएँ।”

SCHİVCHANDRA@snbhi376

20 Nov, 05:57


चुनौतियों से निपटने का सन्देश

जिंदगी में आने वाली चुनौतियों का सामना करने के लिए हमें
विल पावर की आवश्यकता होती है। यह शक्ति तभी जागृत होती है जब हमारा मन स्थिर और शांत हो। इसके लिए गुरु की शरण में जाना और उनके मार्गदर्शन को अपनाना महत्वपूर्ण है। साथ ही, स्वयं को मानसिक और भावनात्मक रूप से मजबूत बनाना भी जरूरी है।

जीवन की उलझनों से बाहर निकलने का प्रयास करें, क्योंकि हर व्यक्ति समस्याओं का सामना करने का अपना तरीका अपनाता है। कोई उलझनों में उलझ जाता है, तो कोई शांति और धैर्य से समाधान पा लेता है।

एक अचूक उपाय

यदि आप खुद को उलझनों से घिरा हुआ महसूस करते हैं, तो अपने घर में बने गुरु मंदिर या पूजा स्थल पर जाएं। शांत मन से वहां बैठें और गुरु के स्वरूप को देखते रहें। धीरे-धीरे अपने मन के भाव खोलकर व्यक्त करें। रोएं, गिड़गिड़ाएं, और जो भी दिल में है, उसे गुरु के समक्ष निःसंकोच कह डालें।

यह संवाद केवल आपके और गुरु के बीच का होना चाहिए। इसे किसी और के साथ साझा करने की आवश्यकता नहीं है। कुछ दिनों में आप पाएंगे कि आपका मन शांत हो गया है और समस्याओं का समाधान स्वतः ही मिलने लगा है।

विश्वास और आत्मज्ञान

इस प्रक्रिया में विश्वास और ज्ञान की प्राप्ति अनिवार्य है। विश्वास रखें कि गुरु का मार्गदर्शन और आशीर्वाद आपको सही दिशा में ले जाएगा। आत्मज्ञान से मनोबल बढ़ेगा और आप अपने जीवन की चुनौतियों का सामना दृढ़ता और शांति से कर सकेंगे।

“मन को गुरु के चरणों में लगाएं, समाधान स्वयं आपकी ओर आएगा।”

SCHİVCHANDRA@snbhi376

27 Oct, 01:06


साईं प्रमश्वर की
दयालुता का प्रकाश
हज़ूर साहिब के शब्दों को
जन मनस के लिए
अनुवादित किया गया
आओ प्रमश्वर की महिमा का गुणगान करते है
जो साईं गोदड़ के असीमित प्रेम,करुणा और दिव्यता को स्पष्ट करता है साईं प्रमश्वर की महानता और दिव्य कार्यों का विवरण दिया गया है, जो हर व्यक्ति को पापों से मुक्ति, दुःखों से राहत,और मानसिक शांति प्रदान करते हैं। सबसे पहले असीम दिव्यता यानी प्रमश्वर की दिव्यता इतनी विशाल है कि किसी भी भाषा,ज्ञान या शास्त्र में उसे पूरी तरह से व्यक्त नहीं किया जा सकता प्रमश्वर के प्रति श्रद्धा भक्ति किसी भी बंधन से परे है। पापियों का उद्धार यानी जो लोग सच्चे हृदय से पश्चाताप करते हैं प्रमश्वर उन्हें अपने आशीर्वाद से पवित्र करते हैं उन्हें पापों से मुक्त कर देते हैं और उनकी आत्मा को शांति प्रदान करते हैं।दूर से भी उनकी उपस्थिति का अनुभव मिलता है भले ही प्रमश्वर के निकट होना संभव न हो,फिर भी प्रमश्वर की दयालुता हर किसी को उनके पवित्र स्थल पर महसूस होती है उनके दर्शन मात्र से ही रोगों से राहत और सुख की अनुभूति होती है।
यहाँ से सभी को आशीर्वाद मिलता है प्रमश्वर की कृपा से किसी भी असाध्य को ठीक किया जा सकता है और मृतकों को भी जीवन मिल जाता है। वे केवल स्वस्थ और पवित्र लोगों को नहीं बल्कि सभी मानवों को बिना किसी भेदभाव के आशीर्वाद देते हैं। उनकी महिमा दूर-दूर तक लोग करते हैं प्रमश्वर की उदारता और दान की प्रसिद्धि हर दिशा में गूंजती है, और उनका आध्यात्मिक राज्य सभी जगह सम्मानित है वे हृदय से जुड़े हर दुःखी निर्धन और पापी को आत्मिक शांति और सांत्वना प्रदान करते हैं। उनके प्रेम का पवित्र प्याला सभी के लिए खुला है। प्रमश्वर की उपस्थिति और कृपा समय और स्थान की सीमाओं से मुक्त हैं। उनका दान और प्रेम अनंत हैं, जो उनके दिव्य स्वभाव की गहराई को बताता है अंत में ॐ का मतलब बताता हूँ प्रमश्वर की असीम शांति, दिव्यता, और अखंडता का प्रतीक है। यह असीम दिव्य शक्ति को याद करने और उनके प्रति अपने प्रेम और आस्था को समर्पित करने का आह्वान है।

SCHİVCHANDRA@snbhi376

23 Aug, 07:28


कैनेडियन हाज़री